Patna Metro : क्या पटना मेट्रो 20 अगस्त 2025 तक शुरू हो पाएगी? नीतीश कुमार (CM Nitish Kumar ) की मेगा परियोजना का सच!

पटना मेट्रो की नवीनतम अपडेट: क्या यह परियोजना 20 अगस्त 2025 तक शुरू हो पाएगी? जानें नीतीश कुमार की भूमिका, दिल्ली मेट्रो के सहयोग, पहले चरण के स्टेशन और भविष्य की योजनाओं के बारे में।

Aug 20, 2025 - 09:00
Aug 20, 2025 - 00:31
 0
Patna Metro : क्या पटना मेट्रो 20 अगस्त 2025 तक शुरू हो पाएगी? नीतीश कुमार (CM Nitish Kumar ) की मेगा परियोजना का सच!
Patna Metro : क्या पटना मेट्रो 20 अगस्त 2025 तक शुरू हो पाएगी? नीतीश कुमार की मेगा परियोजना का सच!
पटना, 20 अगस्त 2025: बिहार की राजधानी पटना में एक नया युग शुरू होने वाला है, क्योंकि पटना मेट्रो रेल परियोजना तेजी से अपने पहले चरण के उद्घाटन की ओर बढ़ रही है। यह महत्वाकांक्षी परियोजना न केवल शहर की यातायात समस्याओं को हल करने का वादा करती है, बल्कि पटना को भारत के आधुनिक मेट्रो शहरों की सूची में शामिल करने की दिशा में एक बड़ा कदम है। 19 अगस्त 2025 को, बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने बैरिया टर्मिनल पर मेट्रो के निर्माण कार्यों का जायजा लिया, जहां उन्होंने मेट्रो के डिब्बों, रेलवे ट्रैक, यार्ड और पावर ग्रिड की प्रगति की समीक्षा की और अधिकारियों को समय पर कार्य पूरा करने के निर्देश दिए।


पटना मेट्रो: एक परिवर्तनकारी परियोजना पटना मेट्रो एक मास रैपिड ट्रांजिट सिस्टम (MRTS) है, जिसे 2.5 मिलियन से अधिक आबादी वाले पटना शहर की बढ़ती यातायात भीड़भाड़ और परिवहन आवश्यकताओं को पूरा करने के लिए डिज़ाइन किया गया है। इस परियोजना की अनुमानित लागत ₹13,365.77 करोड़ (लगभग 1.6 बिलियन अमेरिकी डॉलर) है, जिसे सार्वजनिक-निजी भागीदारी (PPP) मॉडल के तहत विकसित किया जा रहा है। बिहार सरकार और केंद्र सरकार प्रत्येक 20% लागत वहन कर रही हैं, जबकि 60% लागत जापान इंटरनेशनल कोऑपरेशन एजेंसी (JICA) से ₹5,520.93 करोड़ के ऋण के माध्यम से प्राप्त हो रही है। पहले चरण में, मेट्रो नेटवर्क 30.91 किमी तक फैला होगा, जिसमें दो कॉरिडोर शामिल हैं:
  • लाइन 1 (रेड लाइन, पूर्व-पश्चिम कॉरिडोर): दानापुर कैंटोनमेंट से खेमनीचक तक 16.86 किमी, जिसमें 9.36 किमी एलिवेटेड और 7.5 किमी अंडरग्राउंड है, जिसमें 14 स्टेशन होंगे।
  • लाइन 2 (ब्लू लाइन, उत्तर-दक्षिण कॉरिडोर): पटना जंक्शन से न्यू इंटर-स्टेट बस टर्मिनल (ISBT) तक 14.05 किमी, जिसमें 6 किमी एलिवेटेड और 8 किमी अंडरग्राउंड है, जिसमें 12 स्टेशन होंगे।
ये कॉरिडोर पटना जंक्शन, गांधी मैदान, पटना विश्वविद्यालय और पाटलिपुत्र बस टर्मिनल जैसे प्रमुख क्षेत्रों को जोड़ेंगे, जिसमें पटना जंक्शन और खेमनीचक पर इंटरचेंज स्टेशन होंगे। मेट्रो में आधुनिक सुविधाएं जैसे ऑटोमैटिक फेयर कलेक्शन (AFC) सिस्टम, QR कोड और NFC सपोर्ट के साथ होंगी। बैरिया चक में SH-1 पर एक डिपो बनाया जा रहा है, जो 32 तीन-कोच ट्रेनों को समायोजित करेगा।दिल्ली मेट्रो के साथ संबंधपटना मेट्रो परियोजना में दिल्ली मेट्रो रेल कॉर्पोरेशन (DMRC) की महत्वपूर्ण भूमिका है, जो जनरल कंसल्टेंट (GC) और निर्माण की प्राथमिक एजेंसी के रूप में कार्य कर रही है। DMRC, जो भारत में मेट्रो सिस्टम विकसित करने और संचालित करने में अपनी विशेषज्ञता के लिए प्रसिद्ध है, को PMRCL ने परियोजना के कार्यान्वयन के लिए नियुक्त किया था। DMRC ने नवंबर 2019 में रेल इंडिया टेक्निकल एंड इकोनॉमिक सर्विस (RITES) द्वारा तैयार किए गए मूल DPR में महत्वपूर्ण बदलाव किए, जिसमें शामिल हैं:
  • खेमनीचक पर दूसरा इंटरचेंज स्थापित करना।
  • लाइन-1 के ऐटवारपुर डिपो को हटाना।
  • रामकृष्ण नगर और जगनपुरा में दो नए स्टेशन जोड़ना।

DMRC की विशेषज्ञता यह सुनिश्चित करती है कि पटना मेट्रो सुरक्षा, दक्षता और समयबद्धता के उच्च मानकों का पालन करे। उदाहरण के लिए, लार्सन एंड टुब्रो (L&T) ने DMRC से कॉरिडोर-2 के डिज़ाइन और निर्माण के लिए अनुबंध प्राप्त किया, जिसमें ट्विन टनल और छह अंडरग्राउंड स्टेशन शामिल हैं। DMRC की देखरेख में मार्च 2025 में दलबजीत सिंह जैसे अधिकारियों द्वारा साइट निरीक्षण किए गए, जो परियोजना की समयसीमा को सुरक्षित और कुशलता से पूरा करने की प्रतिबद्धता को दर्शाते हैं।समयसीमा और पहले चरण के स्टेशनपटना मेट्रो का पहला चरण 20 अगस्त 2025 तक शुरू होने की उम्मीद है, जिसमें सार्वजनिक परिचालन सितंबर 2025 से शुरू होगा। प्राथमिक कॉरिडोर, जो ब्लू लाइन का 6.1 किमी एलिवेटेड खंड है, मलाही पकड़ी से पाटलिपुत्र बस टर्मिनल (न्यू ISBT) तक, सबसे पहले शुरू होगा। इस कॉरिडोर में पांच स्टेशन होंगे:
  1. मलाही पकड़ी
  2. खेमनीचक
  3. भूतनाथ
  4. जीरो माइल
  5. पाटलिपुत्र बस टर्मिनल (न्यू ISBT)
प्राथमिक कॉरिडोर की संरचनात्मक प्रगति 90-95% पूरी हो चुकी है, जिसमें ट्रैक बिछाने, ओवरहेड विद्युतीकरण और स्टेशन की अंतिम तैयारियां अंतिम चरण में हैं। ट्रायल रन 15 जुलाई 2025 से शुरू होने की उम्मीद है, और डिपो जून 2025 के मध्य तक तैयार हो जाएगा। पूरे पहले चरण, जिसमें दोनों कॉरिडोर के कुल 24 स्टेशन शामिल हैं, 2030 तक पूरी तरह से पूरा होने की उम्मीद है, जबकि ब्लू लाइन का दूसरा चरण (पटना जंक्शन से राजेंद्र नगर) दिसंबर 2028 तक पूरा होगा।नीतीश कुमार की भूमिकामुख्यमंत्री नीतीश कुमार पटना मेट्रो के पीछे प्रेरक शक्ति रहे हैं, जिन्होंने इसे बिहार की बुनियादी ढांचे को आधुनिक बनाने और पटना को प्रमुख शहरी केंद्र के रूप में स्थापित करने के लिए एक सपनों की परियोजना के रूप में देखा है। उनकी भूमिका इस प्रकार रही है:
  • विजन और मंजूरी: 2013 में नीतीश कुमार की सरकार के तहत पटना में मेट्रो सिस्टम का विचार पहली बार प्रस्तावित किया गया था। 11 जून 2013 को, बिहार कैबिनेट ने RITES द्वारा DPR तैयार करने की मंजूरी दी। उनकी दृढ़ता के कारण 6 फरवरी 2019 को केंद्र सरकार ने परियोजना को मंजूरी दी, और 17 फरवरी 2019 को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आधारशिला रखी।
  • मार्ग पुनर्रचना: नीतीश कुमार ने मूल DPR को संशोधित करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई ताकि पाटलिपुत्र के ऐतिहासिक क्षेत्रों जैसे कुम्हरार और पटना सिटी को नुकसान न पहुंचे। DMRC द्वारा तैयार नया मार्ग मॉडर्न क्षेत्रों जैसे मोइन-उल-हक स्टेडियम और भूतनाथ रोड से होकर गुजरता है।
  • हैंड्स-ऑन निगरानी: नीतीश कुमार ने प्रगति की बारीकी से निगरानी की है। 19 अगस्त 2025 को बैरिया टर्मिनल का उनका दौरा अगस्त 2025 की समयसीमा को पूरा करने की उनकी प्रतिबद्धता को दर्शाता है। मार्च 2025 में गांधी मैदान, PMCH, पटना विश्वविद्यालय और राजेंद्र नगर जैसे स्थानों का दौरा भी यही दर्शाता है।
  • रणनीतिक समय: प्राथमिक कॉरिडोर का शुभारंभ 2025 के अंत में बिहार विधानसभा चुनावों के साथ मेल खाता है, जो नीतीश कुमार की रणनीतिक दृष्टि को दर्शाता है।
  • टनल बोरिंग मील के पत्थर: नीतीश कुमार ने 7 अप्रैल 2023 को मोइन-उल-हक स्टेडियम के पास दूसरी टनल बोरिंग मशीन (TBM) और 11 मार्च 2025 को बुद्ध स्मृति पार्क के पास तीसरी TBM के उभरने का उद्घाटन किया।
चुनौतियां और भविष्य की संभावनाएंपटना मेट्रो को लक्षित राइडरशिप, पूर्ण वित्त पोषण और मौजूदा परिवहन प्रणालियों के साथ एकीकरण जैसी चुनौतियों का सामना करना पड़ रहा है। डिपो में बारिश के पानी का जमाव मामूली देरी का कारण बना है, लेकिन लॉन्च समयसीमा अप्रभावित है। PMRCL जन जागरूकता बढ़ाने के लिए अभियान चला रहा है। भविष्य के चरणों में नेटवर्क का विस्तार होगा:
  • चरण 2: बाइपास चौक मिठापुर से दिदारगंज तक 16.75 किमी।
  • चरण 3: बाइपास चौक मिठापुर से फुलवारी शरीफ AIIMS तक 18.75 किमी।
  • चरण 4: दिदारगंज से फतुहा जंक्शन तक।
  • प्रस्तावित विस्तार: जयप्रकाश नारायण अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे और आगामी बिहटा हवाई अड्डे तक कनेक्शन।
एक परिवर्तन की कहानीकल्पना करें कि पटना की सड़कों पर सुबह की भीड़ में लोग ऑटो और रिक्शा में सफर कर रहे हैं। अगस्त 2025 तक, यह दृश्य बदल सकता है जब पटना मेट्रो की आधुनिक ट्रेनें मलाही पकड़ी से न्यू ISBT तक केवल 15 मिनट में पहुंचाएंगी। नीतीश कुमार का यह सपना, DMRC की विशेषज्ञता के साथ, पटना को एक आधुनिक शहर के रूप में स्थापित करेगा।

What's Your Reaction?

like

dislike

love

funny

angry

sad

wow