Hazaribagh Accident Shock: शादी से लौट रही बोलेरो ट्रक से भिड़ी, मासूम बच्चों समेत 8 लोग घायल!
हजारीबाग में एनएच-522 पर शादी समारोह से लौट रही बोलेरो ट्रक से टकरा गई। हादसे में 8 लोग घायल हो गए, जिनमें कई बच्चे शामिल हैं। पढ़ें पूरी खबर, कैसे हुई यह दर्दनाक दुर्घटना।

शनिवार की सुबह, हजारीबाग का एनएच-522 अचानक चीखों और भगदड़ से गूंज उठा। टाटीझरिया होटल के पास एक बोलेरो गाड़ी ने सड़क किनारे खड़े ट्रक में इतनी जोरदार टक्कर मारी कि वाहन का अगला हिस्सा पूरी तरह चकनाचूर हो गया और 8 लोग गंभीर रूप से घायल हो गए — इनमें अधिकतर मासूम बच्चे थे।
इस दर्दनाक हादसे ने न केवल शादी की खुशियों को मातम में बदल दिया, बल्कि यह सवाल भी खड़ा कर दिया कि क्या हमारी सड़कें अब सुरक्षित हैं?
शादी से लौटते वक्त हुआ भीषण हादसा
जानकारी के अनुसार, बोलेरो में सवार सभी लोग बगोदर के धरमपुर गांव से हजारीबाग के दीपूगढ़ा बारात में शामिल होकर लौट रहे थे। माहौल अभी भी शादी की खुशियों से भरा था। गाड़ी में बच्चे, बुजुर्ग और महिलाएं भी सवार थीं।
सुबह का समय था और बोलेरो एनएच-522 से गुजर रही थी। जैसे ही वह टाटीझरिया होटल के पास पहुंची, चालक को अचानक झपकी आ गई और गाड़ी अनियंत्रित होकर खड़े ट्रक में जा घुसी।
टक्कर इतनी जोरदार थी कि...
टक्कर इतनी भयानक थी कि बोलेरो का अगला हिस्सा पूरी तरह क्षतिग्रस्त हो गया। यात्रियों की चीख-पुकार से पूरा इलाका गूंज उठा। राहगीरों और स्थानीय लोगों ने तुरंत पुलिस और एंबुलेंस को सूचना दी।
सदर थाना पुलिस घटनास्थल पर पहुंची और सभी घायलों को हजारीबाग सदर अस्पताल और आरोग्यम हॉस्पिटल में भर्ती कराया।
घायलों की हालत नाजुक, कई रेफर किए गए रिम्स
डॉक्टरों ने प्राथमिक इलाज के बाद कुछ लोगों की गंभीर स्थिति देखते हुए उन्हें रांची स्थित रिम्स (RIMS) रेफर कर दिया। फिलहाल कुछ घायलों का इलाज हजारीबाग में ही चल रहा है।
इस हादसे में जिन आठ लोगों को चोटें आई हैं, उनमें चार बच्चे शामिल हैं, जिनकी हालत बेहद नाजुक बताई जा रही है।
ट्रक चालक फरार, पुलिस कर रही जांच
घटना के बाद मौके पर मौजूद ट्रक चालक फरार हो गया। पुलिस ने क्षतिग्रस्त बोलेरो को जब्त कर थाने ले आई है और पूरे मामले की जांच शुरू कर दी गई है।
यह भी पता लगाया जा रहा है कि क्या ट्रक वहां वैध रूप से खड़ा था या ट्रैफिक नियमों का उल्लंघन किया गया था। साथ ही यह भी देखा जा रहा है कि बोलेरो चालक के पास वैध लाइसेंस था या नहीं।
इतिहास भी दे रहा है चेतावनी
हजारीबाग और झारखंड के कई हिस्सों में एनएच-522 लंबे समय से खतरनाक सड़क मानी जाती रही है। साल 2019 में भी इसी मार्ग पर एक ट्रक और बस की टक्कर में 5 लोगों की मौत हो गई थी।
एनएच-522 पर स्ट्रीट लाइट्स की कमी, ट्रैफिक नियमों का पालन न होना और भारी वाहनों की अवैध पार्किंग पहले भी कई बार दुर्घटनाओं की वजह बन चुकी हैं।
क्या सीख मिले इस हादसे से?
इस हादसे ने एक बार फिर यह दिखा दिया कि नींद की एक झपकी जिंदगीभर का अफसोस बन सकती है। शादी का जश्न मातम में बदल गया। बच्चों की मुस्कान अब दर्द में बदल चुकी है।
यह घटना सभी ड्राइवरों और यात्रियों के लिए एक सबक है कि थकावट में वाहन न चलाएं, ब्रेक लें, नियमों का पालन करें।
क्या हादसे ऐसे ही होते रहेंगे?
हर बार की तरह इस बार भी जांच और आश्वासन की बातें होंगी, लेकिन जब तक सड़क सुरक्षा नियमों का पालन सख्ती से नहीं होगा और लोग स्वयं जागरूक नहीं होंगे, तब तक इस तरह की घटनाएं दोहराई जाती रहेंगी।
हजारीबाग की यह घटना केवल एक सड़क दुर्घटना नहीं, यह उस सिस्टम पर सवाल है, जो हादसों के बाद जागता है लेकिन उससे पहले नहीं।
आपकी क्या राय है? क्या ट्रकों की सड़क पर अवैध पार्किंग पर सख्त कार्रवाई होनी चाहिए? क्या NH पर ड्राइवरों के लिए आराम स्थल बनाए जाने चाहिए?
हमें अपने विचार जरूर बताएं, क्योंकि समाधान की शुरुआत आपके सवाल से होती है।
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