Ranchi Solution: प्राथमिक शिक्षक प्रशिक्षण और बीएड की समस्याओं का हल निकालेगा सरकार

झारखंड के शिक्षा मंत्री से मिलकर डॉ विशेश्वर यादव ने बीएड और प्राथमिक शिक्षक प्रशिक्षण (डीएलएड) के मुद्दों पर चर्चा की। जानिए क्या होगा समाधान।

Dec 8, 2024 - 15:34
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Ranchi Solution: प्राथमिक शिक्षक प्रशिक्षण और बीएड की समस्याओं का हल निकालेगा सरकार
Ranchi Solution: प्राथमिक शिक्षक प्रशिक्षण और बीएड की समस्याओं का हल निकालेगा सरकार

झारखंड के शिक्षा क्षेत्र में इन दिनों प्राथमिक शिक्षक प्रशिक्षण (डीएलएड) और बीएड से संबंधित समस्याएं चर्चा में हैं। इसी सिलसिले में, ग्रेजुएट महाविद्यालय के बीएड विभाग के विभागाध्यक्ष, डॉ विशेश्वर यादव ने हाल ही में रांची में शिक्षा मंत्री से उनके आवास घोड़ाबांदा में मुलाकात की। इस मुलाकात में डॉ यादव ने मंत्री से इन विषयों पर गंभीर चर्चा की और उन्हें समस्या का विस्तार से अवगत कराया।

समस्या की गंभीरता और समाधान की आवश्यकता

डॉ यादव ने बताया कि भारत सरकार के एनसीटीई, नई दिल्ली द्वारा पूरे झारखंड में जहां-जहां प्राथमिक शिक्षक प्रशिक्षण चल रहा था, उसकी मान्यता प्राप्त थी। इन केंद्रों में अलग-अलग भवन और स्वीकृत पद थे। हालांकि, पिछले वर्ष इन्हें बंद कर दिया गया, जिससे कई शिक्षक अन्य कार्यों में लग गए। डॉ यादव ने कहा कि यह स्थिति गलत है और इसके लिए सरकार को शीघ्र सुधारात्मक कदम उठाने चाहिए। उन्होंने सुझाव दिया कि या तो नए शिक्षक नियुक्त किए जाएं या सरकारी महाविद्यालयों में चल रहे बीएड के शिक्षकों का समायोजन कर इन प्रशिक्षण केंद्रों को फिर से चालू किया जाए।

प्रशिक्षण से जुड़ी महत्व की बातें

प्राथमिक शिक्षक प्रशिक्षण (डीएलएड) और बीएड की पढ़ाई समाज में शिक्षक की गुणवत्ता को सुधारने में अहम भूमिका निभाती है। इन प्रशिक्षणों से शिक्षा का स्तर ऊँचा होता है और छात्रों को अच्छी शिक्षा मिलती है। झारखंड में यह मुद्दा इसलिए भी महत्वपूर्ण है क्योंकि राज्य में शिक्षा के क्षेत्र में सुधार की दिशा में कई कदम उठाए जा रहे हैं, लेकिन इन प्रशिक्षण केंद्रों की बंदी से भविष्य के शिक्षकों की पढ़ाई प्रभावित हो रही है।

मंत्री ने दिया समाधान का आश्वासन

शिक्षा मंत्री ने इस मुद्दे को गंभीरता से लिया और डॉ यादव को आश्वस्त किया कि आने वाले दिनों में इस समस्या का समाधान किया जाएगा। मंत्री ने बताया कि सरकार इस दिशा में कदम उठाने के लिए विचार कर रही है, ताकि झारखंड के छात्रों को गुणवत्ता वाली शिक्षा उचित कीमत पर मिल सके।

इतिहास की झलक

बीएड और डीएलएड के प्रशिक्षण केंद्रों का इतिहास झारखंड में काफी पुराना है। कई दशक पहले, राज्य में इन केंद्रों की स्थापना शिक्षा के स्तर को सुधारने और योग्य शिक्षक तैयार करने के लिए की गई थी। लेकिन समय के साथ, कई बार बजट की कमी, प्रशासनिक लापरवाही और अन्य समस्याओं के चलते इनका संचालन प्रभावित हुआ। आज की स्थिति में, इन प्रशिक्षण केंद्रों की बंदी से भविष्य के शिक्षक तैयार करने की प्रक्रिया प्रभावित हो रही है, जो राज्य की शिक्षा व्यवस्था के लिए खतरे की घंटी है।

अगर सरकार ने समय रहते इन मुद्दों को नहीं सुलझाया तो आने वाले समय में झारखंड की शिक्षा प्रणाली में और भी कई समस्याएं पैदा हो सकती हैं। इस मुद्दे का हल जल्द से जल्द निकालना जरूरी है, ताकि राज्य के छात्र-छात्राएं बेहतर शिक्षा से वंचित न रहें और शिक्षक भी अपने करियर की ओर अग्रसर हो सकें।

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Manish Tamsoy मनीष तामसोय कॉमर्स में मास्टर डिग्री कर रहे हैं और खेलों के प्रति गहरी रुचि रखते हैं। क्रिकेट, फुटबॉल और शतरंज जैसे खेलों में उनकी गहरी समझ और विश्लेषणात्मक क्षमता उन्हें एक कुशल खेल विश्लेषक बनाती है। इसके अलावा, मनीष वीडियो एडिटिंग में भी एक्सपर्ट हैं। उनका क्रिएटिव अप्रोच और टेक्निकल नॉलेज उन्हें खेल विश्लेषण से जुड़े वीडियो कंटेंट को आकर्षक और प्रभावी बनाने में मदद करता है। खेलों की दुनिया में हो रहे नए बदलावों और रोमांचक मुकाबलों पर उनकी गहरी पकड़ उन्हें एक बेहतरीन कंटेंट क्रिएटर और पत्रकार के रूप में स्थापित करती है।