भुइयांडीह की तीन बस्तियों के 150 घरों को तोड़ने का आदेश, विधायक सरयू राय ने दिया समर्थन
जमशेदपुर के भुइयांडीह में 150 घरों को तोड़ने का आदेश मिला है जिससे निवासियों में हड़कंप मच गया है। विधायक सरयू राय ने बस्तीवासियों को आश्वासन दिया कि वे उनके घरों को टूटने नहीं देंगे और इस मामले को सरकार के समक्ष उठाएंगे।
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Jamshedpur ke Bhuiyandih स्थित Kalynanagar, Indiranagar aur Chayanagar के करीब 150 घरों को तोड़ने के आदेश से हड़कंप मच गया है। Jharkhand Public Land Encroachment Act (JPLE) के तहत यह नोटिस Jamshedpur के CO Office के माध्यम से जारी किया गया है।
नोटिस का विवरण
6 जुलाई को जारी इस नोटिस में निवासियों को 14 दिनों का समय दिया गया है और 20 जुलाई तक स्पष्टीकरण देने का निर्देश दिया गया है। इस सामूहिक नोटिस ने सभी बस्तीवासियों को डर और चिंता में डाल दिया है।
विधायक सरयू राय का दौरा
इस खबर के बाद Jamshedpur पूर्वी के विधायक सरयू राय ने Bhuiyandih की इन बस्तियों का दौरा किया और निवासियों को आश्वस्त किया कि वे उनके घरों को टूटने नहीं देंगे। उन्होंने यह मामला सरकार के सक्षम प्राधिकार के समक्ष उठाने का वादा किया। सरयू राय ने बताया कि इन इलाकों के निवासी आर्थिक एवं सामाजिक दृष्टि से कमजोर वर्ग के हैं जिन्होंने अपनी गाढ़ी कमाई से यह घर बनाए हैं।
प्रशासन की भूमिका
Jharkhand Public Land Encroachment Act के अंतर्गत आने वाली इन बस्तियों के निवासियों को 2005 में Tata Lease Agreement के अंतर्गत लीज क्षेत्र से बाहर किया गया था। कुछ आवास सरकारी भूखंड पर भी बने हैं। जिला प्रशासन के अनुसार, यह नोटिस National Green Tribunal (NGT) के आदेशानुसार जल संसाधन विभाग, Mango Nagar Nigam, Jamshedpur Adhisuchit Kshetra Samiti और जिला प्रशासन के संयुक्त सर्वेक्षण के आधार पर दिया गया है।
विधायक की प्रतिक्रिया
सरयू राय ने अधिकारियों से बातचीत के दौरान बताया कि नोटिस में वैज्ञानिक दृष्टिकोण का अभाव है और वे इस नोटिस की विसंगतियों पर सरकार और जिला प्रशासन का ध्यान आकृष्ट करेंगे। उन्होंने कहा कि इस विषय पर राज्यस्तरीय बैठक बुलाई जाए ताकि NGT के आदेश की व्यावहारिकता पर विचार किया जा सके।
विधायक का वक्तव्य
विधायक सरयू राय ने कहा कि सभी नदियों के संरक्षण के पक्षधर हैं लेकिन NGT के समक्ष विषय को पूर्णता में रखना आवश्यक है। केवल Bhuiyandih इलाके की बस्तियों को लक्षित करना न्यायसंगत नहीं है। उन्होंने यह भी कहा कि विधानसभा के गत सत्र में सरकार ने आश्वासन दिया था कि Jamshedpur की बस्तियों का कोई भी घर सरकार नहीं तोड़ेगी।
प्रशासन की जानकारी
सरयू राय ने सवाल उठाया कि जब ये बस्तियां बस रही थीं, तब प्रशासन ने निवासियों को क्यों नहीं रोका और उन्हें वस्तुस्थिति की जानकारी क्यों नहीं दी। उन्होंने कहा कि Tata Steel की इकाई Tata Steel UISL (पहले Jusco) ने इन इलाकों में पानी और बिजली की सुविधा दी है, जो प्रशासन की जानकारी में हुआ है। सरकार के अधिवक्ता ने यह तथ्य NGT के सामने रखा है या नहीं, इसकी जानकारी होनी चाहिए।
विधायक सरयू राय ने कहा कि वे इस विषय को विधानसभा सत्र में भी उठाएंगे और सरकार से आग्रह करेंगे कि नदी संरक्षण और नदी किनारे की बसाहट में संतुलन कायम हो। केवल गरीबों के घरों को तोड़ना न्यायसंगत नहीं है और सरकार को इस पर उचित कदम उठाने चाहिए।
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