Ranchi Crime Raid: आनंदपुरी मोहल्ले से 18 जुआरी रंगेहाथ गिरफ्तार, पुलिस की बड़ी कार्रवाई से हड़कंप
रांची पुलिस ने अपराध नियंत्रण के लिए चलाई गई विशेष कार्रवाई में आनंदपुरी मोहल्ले से 18 जुआरियों को रंगेहाथ पकड़ा। छापेमारी में नकदी, मोबाइल और ताश की गड्डियां बरामद।
राजधानी में अपराध नियंत्रण और कानून व्यवस्था को सख्त करने के लिए पुलिस लगातार बड़े कदम उठा रही है। शुक्रवार देर रात रांची पुलिस ने आनंदपुरी मोहल्ले में छापेमारी कर 18 जुआरियों को रंगेहाथ गिरफ्तार किया। यह कार्रवाई एसएसपी राकेश रंजन के निर्देश पर और सिटी एसपी पारस राणा की अगुवाई में की गई।
कैसे हुआ खुलासा?
पुलिस को गुप्त सूचना मिली थी कि अरगोड़ा थाना क्षेत्र के राजकुमार साव के मकान में लंबे समय से संगठित तरीके से जुआ खेला जा रहा है। सूचना को गंभीरता से लेते हुए हटिया डीएसपी, कोतवाली डीएसपी और अन्य थानों की टीम गठित की गई। रात में अचानक छापेमारी हुई और मौके पर 18 लोग ताश खेलते हुए गिरफ्तार कर लिए गए।
क्या मिला पुलिस को?
छापेमारी के दौरान पुलिस ने आरोपियों के पास से
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नकद राशि
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ताश की गड्डियां
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14 मोबाइल फोन
बरामद किए। इसके बाद सभी आरोपियों पर सुसंगत धाराओं में मुकदमा दर्ज कर आगे की कार्रवाई शुरू कर दी गई है।
गिरफ्तार आरोपियों की लिस्ट
गिरफ्तार हुए लोगों में करण मेहरा, पिंटू पासवान, विकास यादव, रितिक यादव, बालेश्वर, दीपक कुमार सोनी, अजय कुमार, बबलू वर्मा, अजय कुमार यादव, सूरज कुमार, सोनू कुमार गुप्ता, सौरभ कुमार सिंह, हैप्पी कटारिया, संजीव साहू, राकेश मेहता, मोहित प्रजापति, राज साहू और धनंजय साहू शामिल हैं।
इतिहास और पृष्ठभूमि
रांची में जुआ और सट्टा कोई नया अपराध नहीं है। शहर में कई बार पुलिस ने ऐसे अड्डों का भंडाफोड़ किया है। 90 के दशक से ही राजधानी के मोहल्लों और बाजारों में छोटे-बड़े जुआ अड्डे सक्रिय रहे हैं। कई बार तो पुलिस की छापेमारी के बावजूद ये धंधे दोबारा शुरू हो जाते हैं।
2018 में भी अरगोड़ा थाना क्षेत्र से 22 जुआरी गिरफ्तार किए गए थे। इसके बाद 2021 में कोतवाली थाना क्षेत्र में बड़े पैमाने पर छापेमारी कर जुआ के अड्डे का पर्दाफाश हुआ था। हर बार पुलिस की सख्ती के बावजूद ऐसे गिरोह फिर से संगठित हो जाते हैं। यही कारण है कि इस बार प्रशासन ने संयुक्त अभियान चलाकर जाल बिछाया।
क्यों बढ़ रहा है जुआ का नेटवर्क?
विशेषज्ञों का मानना है कि बेरोजगारी और आसान पैसे की चाहत जुआ और सट्टेबाजी को बढ़ावा देती है। मोबाइल और ऑनलाइन प्लेटफॉर्म के चलते अब जुआ का नेटवर्क और ज्यादा संगठित हो गया है। यही वजह है कि प्रशासन को लगातार नई रणनीति बनानी पड़ती है।
पुलिस की सख्ती का असर
इस कार्रवाई के बाद स्थानीय स्तर पर अपराध जगत में हड़कंप मच गया है। पुलिस का कहना है कि राजधानी में अपराध नियंत्रण के लिए इस तरह की छापेमारी अभियान आगे भी जारी रहेंगे। प्रशासन ने साफ किया कि जो भी व्यक्ति ऐसे गैरकानूनी गतिविधियों में शामिल होगा, उसके खिलाफ कड़ी कार्रवाई होगी।
जनता की प्रतिक्रिया
इलाके के लोगों का कहना है कि मोहल्ले में लंबे समय से जुआ और सट्टेबाजी का खेल चल रहा था। कई बार इसकी शिकायत भी की गई, लेकिन अब जाकर पुलिस ने ठोस कदम उठाया। लोगों का मानना है कि अगर ऐसे छापेमारी अभियान नियमित रूप से चलाए जाएं तो मोहल्लों से अपराध कम होंगे।
रांची पुलिस की इस संयुक्त कार्रवाई ने एक बार फिर यह संदेश दिया है कि राजधानी में अपराध और जुए के लिए कोई जगह नहीं है। 18 जुआरियों की गिरफ्तारी सिर्फ एक कार्रवाई नहीं, बल्कि उन सभी नेटवर्क्स के लिए चेतावनी है जो शहर में अपराध का माहौल बनाना चाहते हैं।
अब देखना यह होगा कि यह कार्रवाई कितने दिनों तक असर दिखाती है या फिर पुराने अंदाज में जुआ और सट्टेबाजी का सिलसिला वापस शुरू हो जाएगा।
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