Tamil Nadu Women Exploitation: काम करने गई महिलाओं के साथ शोषण, जिला परिषद सदस्य ने की मुख्यमंत्री से कार्रवाई की मांग
तमिलनाडु की धागा कंपनी में काम करने गई पश्चिमी सिंहभूम की महिलाओं के साथ शोषण का मामला। मंझारी जिला परिषद सदस्य ने मुख्यमंत्री और अधिकारियों से कार्रवाई की मांग की।
12 दिसंबर 2024: झारखंड के पश्चिमी सिंहभूम जिले से काम की तलाश में तमिलनाडु की एक धागा कंपनी में गई महिलाएं और लड़कियां आज वहां फंसी हुई हैं। इन महिलाओं के साथ कंपनी के भीतर शोषण और अत्याचार की खबरें सामने आई हैं। इस गंभीर मामले को लेकर मंझारी जिला परिषद सदस्य माधव चंद्र कुंकल ने मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन को अवगत कराया और तत्काल कार्रवाई की मांग की है।
मंझारी से तमिलनाडु तक: रोजगार के नाम पर शोषण
मंझारी और तांतनगर की दर्जनभर महिलाएं रोजगार के लिए तमिलनाडु गई थीं। वहां उन्हें बेहतर भविष्य का सपना दिखाया गया, लेकिन अब वह कंपनी के शोषण का शिकार हो रही हैं।
जिला परिषद सदस्य माधव चंद्र कुंकल ने ट्वीट और ज्ञापन के माध्यम से इस मुद्दे को झारखंड और तमिलनाडु सरकार के सामने रखा है। उन्होंने इन महिलाओं को सुरक्षित उनके घर वापस लाने और दोषियों पर कड़ी कार्रवाई करने की मांग की है।
महिला शोषण: मानव तस्करी के बढ़ते मामले
यह मामला मानव तस्करी की ओर इशारा करता है, जो झारखंड जैसे राज्य में एक गंभीर समस्या बन चुकी है।
- आकर्षक नौकरी के नाम पर शोषण:
ग्रामीण इलाकों से गरीब महिलाओं को आकर्षक नौकरी का झांसा देकर दूसरे राज्यों में ले जाया जाता है। - कानूनी कार्रवाई की कमी:
ऐसे मामलों में दोषियों पर कार्रवाई का अभाव मानव तस्करी को बढ़ावा देता है।
माधव चंद्र कुंकल ने इस प्रथा को रोकने और झारखंड के लोगों को राज्य के भीतर रोजगार उपलब्ध कराने की मांग की है।
ज्ञापन में रखी गई मुख्य मांगे
माधव चंद्र कुंकल ने निम्नलिखित मांगें की हैं:
- महिलाओं की सुरक्षित वापसी: तमिलनाडु में फंसी महिलाओं को तुरंत वापस लाया जाए।
- दोषियों पर सख्त कार्रवाई: धागा कंपनी के प्रबंधन और मानव तस्करी में शामिल लोगों पर कठोर दंड लगाया जाए।
- झारखंड में रोजगार के अवसर: राज्य के लोगों को झारखंड के भीतर रोजगार उपलब्ध कराना सुनिश्चित किया जाए।
- मानव तस्करी पर रोक: सरकारी और निजी स्तर पर मानव तस्करी के मामलों को रोकने के लिए ठोस कदम उठाए जाएं।
झारखंड: मानव तस्करी का इतिहास और वर्तमान स्थिति
झारखंड में मानव तस्करी एक पुरानी समस्या रही है।
- मुख्य कारण:
राज्य में रोजगार के सीमित अवसर, गरीबी और शिक्षा की कमी। - प्रभावित क्षेत्र:
पश्चिमी सिंहभूम, गुमला, सिमडेगा जैसे जिलों से हर साल हजारों लोग नौकरी की तलाश में बाहर जाते हैं। - सरकारी पहल:
राज्य सरकार ने कई बार जागरूकता अभियान चलाए, लेकिन मानव तस्करी के मामलों में अभी भी बढ़ोतरी हो रही है।
महिला सुरक्षा और प्रशासन की भूमिका
माधव चंद्र कुंकल ने प्रशासन से सवाल किया है कि ऐसी घटनाओं को रोकने के लिए अब तक क्या ठोस कदम उठाए गए हैं। उन्होंने मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन से अपील की है कि झारखंड के लोगों को अपने राज्य में ही सम्मानजनक रोजगार मिले।
क्या होगा अगला कदम?
अब यह देखना महत्वपूर्ण होगा कि सरकार इस मामले में कितनी तेजी से कार्रवाई करती है।
- महिलाओं की वापसी: क्या फंसी हुई महिलाओं को सुरक्षित वापस लाया जाएगा?
- दोषियों पर कार्रवाई: क्या शोषण करने वालों पर सख्त कदम उठाए जाएंगे?
- झारखंड में रोजगार: क्या राज्य सरकार रोजगार के बेहतर अवसर उपलब्ध कराएगी?
इस मामले ने एक बार फिर से मानव तस्करी और रोजगार के नाम पर हो रहे शोषण की गंभीरता को उजागर किया है। जनता की नजर अब प्रशासन और सरकार के अगले कदमों पर है।
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