Pig Kidney Transplant: मेडिकल साइंस ने रचा इतिहास, इंसान को लगा दी सुअर की किडनी, सफल ऑपरेशन के बाद घर लौटा मरीज!

मेडिकल साइंस ने नया इतिहास रचते हुए 66 वर्षीय व्यक्ति में सुअर की जेनेटिकली मॉडिफाइड किडनी सफलतापूर्वक ट्रांसप्लांट की। ऑपरेशन के बाद मरीज स्वस्थ होकर घर लौट चुका है। यह प्रयोग भविष्य में लाखों लोगों की जान बचा सकता है।

Feb 9, 2025 - 15:04
 0
Pig Kidney Transplant: मेडिकल साइंस ने रचा इतिहास, इंसान को लगा दी सुअर की किडनी, सफल ऑपरेशन के बाद घर लौटा मरीज!
Pig Kidney Transplant: मेडिकल साइंस ने रचा इतिहास, इंसान को लगा दी सुअर की किडनी, सफल ऑपरेशन के बाद घर लौटा मरीज!

मेडिकल साइंस ने एक नई क्रांति ला दी है! पहली बार सुअर की जेनेटिकली मॉडिफाइड किडनी को इंसान में सफलतापूर्वक ट्रांसप्लांट किया गया, और मरीज अब स्वस्थ होकर घर लौट चुका है।

यह ऐतिहासिक सर्जरी न्यू हैम्पशायर, अमेरिका में 25 जनवरी 2025 को की गई थी। 66 वर्षीय टिम एंड्रूज, जो पिछले दो साल से किडनी फेलियर की समस्या से जूझ रहे थे, उन्हें यह नई किडनी दी गई।

कैसे हुआ यह चमत्कारी ऑपरेशन?

  • टिम एंड्रूज डायलिसिस और हार्ट प्रॉब्लम से जूझ रहे थे और उन्हें किडनी डोनर नहीं मिल रहा था।
  • डॉक्टरों ने सुअर की जीन एडिटेड किडनी को उनके शरीर में ट्रांसप्लांट करने का फैसला किया।
  • ऑपरेशन के कुछ समय बाद ही नई किडनी ने बिना किसी रुकावट के काम करना शुरू कर दिया।
  • मरीज को एक हफ्ते में अस्पताल से छुट्टी मिल गई और अब वह बिना किसी दिक्कत के घर पर हैं।

पहले भी हुए ऐसे प्रयास, लेकिन यह पहली बड़ी सफलता!

इससे पहले भी जानवरों से इंसानों में अंग प्रत्यारोपण (Xenotransplantation) के कई प्रयास किए गए थे, लेकिन कोई भी इतना सफल नहीं रहा।

2022 में अमेरिका में ही सुअर के दिल का ट्रांसप्लांट किया गया था, लेकिन मरीज कुछ महीनों बाद जीवित नहीं रहा।
इस बार की गई किडनी ट्रांसप्लांट सर्जरी को बेहद सफल माना जा रहा है, क्योंकि किडनी बिना किसी रुकावट के काम कर रही है।

यह खोज क्यों महत्वपूर्ण है?

अमेरिका में 1 लाख से अधिक लोग किडनी ट्रांसप्लांट का इंतजार कर रहे हैं।
भारत समेत दुनिया के कई देशों में किडनी डोनर मिलना बेहद मुश्किल है।
अगर यह तकनीक पूरी तरह सफल होती है, तो लाखों लोगों की जान बचाई जा सकती है।

ट्रांसप्लांट के बाद क्या कहते हैं डॉक्टर?

डॉक्टरों ने कहा कि "टिम एंड्रूज का ऑपरेशन मेडिकल साइंस के लिए एक नया मील का पत्थर है।"
नई किडनी ने बिना किसी अस्वीकृति (Rejection) के काम करना शुरू कर दिया।
हम अभी मरीज की स्थिति पर नजर बनाए हुए हैं।
अगर सब कुछ सही चलता रहा, तो यह तकनीक किडनी की कमी से जूझ रहे लोगों के लिए क्रांतिकारी बदलाव ला सकती है।

क्या भविष्य में यह इलाज आम हो सकता है?

✔ विशेषज्ञों का मानना है कि आने वाले वर्षों में सुअर से इंसान में अंग प्रत्यारोपण सामान्य हो सकता है।
जेनेटिक एडिटिंग तकनीक (CRISPR) के जरिए सुअर के अंगों को इंसानों के लिए उपयुक्त बनाया जा सकता है।
✔ इससे हार्ट, लिवर, फेफड़े और अन्य महत्वपूर्ण अंगों के ट्रांसप्लांट में भी मदद मिलेगी।

क्या यह सुरक्षित है?

सुअर की किडनी को इंसानी शरीर के अनुकूल बनाने के लिए जीन एडिटिंग की गई है।
इससे शरीर में Rejection की संभावना कम हो गई है।
हालांकि, डॉक्टरों का कहना है कि अभी इसे लेकर पूरी तरह आश्वस्त होने में समय लगेगा।

सुअर की किडनी का इंसान में सफल ट्रांसप्लांट मेडिकल साइंस के इतिहास में एक बड़ा बदलाव साबित हो सकता है।

  • 66 वर्षीय मरीज टिम एंड्रूज अब स्वस्थ हैं और घर लौट चुके हैं।
  • अगर यह तकनीक सफल रही, तो लाखों किडनी रोगियों को नया जीवन मिल सकता है।
  • आने वाले सालों में जानवरों से इंसानों में ऑर्गन ट्रांसप्लांट एक आम प्रक्रिया बन सकती है।

अब सभी की नजरें इस बात पर टिकी हैं कि टिम की यह नई किडनी कितने लंबे समय तक सही तरीके से काम करती है!

What's Your Reaction?

like

dislike

love

funny

angry

sad

wow

Nihal Ravidas निहाल रविदास, जिन्होंने बी.कॉम की पढ़ाई की है, तकनीकी विशेषज्ञता, समसामयिक मुद्दों और रचनात्मक लेखन में माहिर हैं।