Nawada Success: कैट परीक्षा में मयंक ने 97.5 प्रतिशत अंक से सफलता प्राप्त कर परिवार और क्षेत्र का नाम किया रोशन!
नवादा के मयंक राज ने 2024 की कैट परीक्षा में 97.5 प्रतिशत अंक प्राप्त कर परिवार और क्षेत्र का नाम रोशन किया है। जानें उनकी सफलता की पूरी कहानी और 22 दिसंबर को वारिसलीगंज में आयोजित होने वाले निःशुल्क नेत्र जांच शिविर के बारे में।
नवादा जिले के वारिसलीगंज प्रखंड क्षेत्र के सौर पंचायत के सवैया गांव के एक किसान के बेटे मयंक राज ने 2024 की कैट परीक्षा में शानदार 97.5 प्रतिशत अंक प्राप्त कर न केवल अपने परिवार का नाम रोशन किया, बल्कि पूरे क्षेत्र में खुशियों का माहौल बना दिया है। यह सफलता मयंक के कड़ी मेहनत और अडिग संकल्प का परिणाम है। मयंक का यह ऐतिहासिक प्रदर्शन क्षेत्र के लिए एक प्रेरणा बन गया है।
मयंक के पिता दिनेश सिंह एक किसान हैं और उनकी मां अंशु देवी गृहिणी हैं। मयंक ने अपनी प्रारंभिक शिक्षा नवादा के ज्ञान भारती स्कूल से प्राप्त की थी। बाद में, उन्होंने दिल्ली विश्वविद्यालय से अपनी स्नातक की डिग्री पूरी की। उसके बाद, मयंक ने प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारी के लिए अपनी पूरी मेहनत और ध्यान एकत्र किया। उनके इस प्रयास के परिणामस्वरूप, उन्होंने कैट परीक्षा में 97.5 प्रतिशत अंक प्राप्त किए और इसे अपने माता-पिता और शिक्षकों के आशीर्वाद का फल मानते हुए अपनी सफलता का श्रेय उन्हें दिया।
मयंक ने बताया कि यह सफलता उनके माता-पिता के संघर्ष और उनके गुरुजनों की प्रेरणा का परिणाम है, जिन्होंने हमेशा उन्हें प्रोत्साहित किया। मयंक की सफलता ने न केवल उनके परिवार में खुशी का माहौल बनाया है, बल्कि पूरे गांव और क्षेत्र में भी गौरव का एहसास पैदा किया है। मयंक ने 2023 में भी कैट परीक्षा में 94 प्रतिशत अंक प्राप्त किए थे, लेकिन इस बार उनका प्रदर्शन और बेहतर रहा।
अब मिलेगा उच्च शिक्षा का अवसर:
मयंक का कहना है कि इस सफलता के बाद अब उन्हें अच्छे संस्थानों में अध्ययन करने का अवसर मिलेगा। इस तरह की सफलता से न केवल मयंक की ज़िंदगी बदल जाएगी, बल्कि उनके जैसे छात्रों के लिए यह प्रेरणा का स्रोत भी बनेगा। उनकी मेहनत और समर्पण यह साबित करते हैं कि यदि इरादा मजबूत हो, तो कोई भी लक्ष्य हासिल किया जा सकता है।
मयंक के परिवार और गांव में उनकी सफलता पर खुशी की लहर दौड़ गई है। उनके दोस्तों और शिक्षकों ने भी मयंक की मेहनत की सराहना की और कहा कि यह सफलता उनके अथक प्रयासों का परिणाम है। इस सफलता से यह भी संदेश मिलता है कि अगर किसी काम में दिल से मेहनत की जाए, तो कोई भी परीक्षा असंभव नहीं होती।
आगे बढ़ने के लिए टिप्स:
मयंक ने अपनी सफलता का राज बताते हुए कहा कि लगातार मेहनत, सही मार्गदर्शन और आत्मविश्वास सफलता की कुंजी हैं। मयंक ने यह भी बताया कि उन्होंने अपने समय का प्रबंधन बहुत अच्छे से किया और एक ठोस अध्ययन योजना बनाई। प्रतियोगी परीक्षा की तैयारी में संयम और सकारात्मक सोच भी महत्वपूर्ण भूमिका निभाती है। उनका कहना है कि किसी भी मुश्किल से न घबराए, हर चुनौती को एक नए अवसर के रूप में लें।
मयंक की सफलता से यह साफ है कि नवादा जैसे छोटे स्थानों में भी प्रतिभाओं की कोई कमी नहीं है। यदि सही मार्गदर्शन और संसाधन मिले, तो यहां के छात्र भी बड़े स्तर पर सफलता हासिल कर सकते हैं। मयंक का उदाहरण यह साबित करता है कि मेहनत और सही दिशा में काम करने से बड़े सपने भी साकार हो सकते हैं।
22 दिसंबर को निःशुल्क नेत्र जांच शिविर का आयोजन:
वारिसलीगंज नगर परिषद क्षेत्र में 22 दिसंबर को पूर्व विधायक स्व. रामकिशन सिंह की स्मृति में एक निःशुल्क नेत्र जांच शिविर का आयोजन किया जाएगा। यह शिविर सर्वोदय विद्यालय, सिमरीडीह में सुबह 10 बजे से 4 बजे तक चलेगा। शिविर का उद्देश्य गांव और शहर के लोगों को नेत्र संबंधी समस्याओं से अवगत कराना और इलाज के लिए आवश्यक सलाह देना है। इस अवसर पर स्वतंत्रता सेनानी संगठन के उत्तराधिकारी सदस्य बद्री सिंह ने सभी को शिविर में आने का निमंत्रण दिया है।
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