Hazaribagh Raid: हजारीबाग-रामगढ़ पुलिस की बड़ी सफलता, कुख्यात अपराधी आलोक उर्फ राहुल तुरी ढेर
हजारीबाग और रामगढ़ पुलिस की संयुक्त कार्रवाई में कुख्यात अपराधी आलोक उर्फ राहुल तुरी मारा गया। जानिए किस तरह पुलिस ने अपराधी को ढूंढ निकाला और मुठभेड़ में उसे ढेर किया। इस संघर्ष की पूरी जानकारी यहां पढ़ें।
हजारीबाग, 12 जनवरी 2025: झारखंड की हजारीबाग और रामगढ़ पुलिस ने संयुक्त कार्रवाई में एक बड़ी सफलता हासिल की है। पुलिस ने कुख्यात अपराधी आलोक उर्फ राहुल तुरी को मार गिराया, जबकि उसके साथी आकाश करमाली को गिरफ्तार कर लिया। यह घटना हजारीबाग और रामगढ़ जिलों के सीमावर्ती इलाके कुजू ओपी क्षेत्र के मुरपा मांझी टोला में हुई। आलोक उर्फ राहुल तुरी उरीमारी के झामुमो नेता और सीसीएल कर्मी संतोष सिंह की हत्या का मुख्य आरोपी था, जिसकी तलाश पुलिस लंबे समय से कर रही थी।
मोबाइल लोकेशन से मिली जानकारी, पुलिस ने की घेराबंदी
शनिवार को पुलिस को आलोक उर्फ राहुल तुरी के बारे में मोबाइल लोकेशन के माध्यम से जानकारी मिली। इसके बाद हजारीबाग और रामगढ़ पुलिस ने मिलकर मुरपा मांझी टोला में घेराबंदी की। जैसे ही पुलिस की टीम ने अपराधियों को देखा, दोनों ने अपनी होंडा साइन बाइक (जेएच 24 एल-1925) छोड़ जंगल में घुसने की कोशिश की और पुलिस पर गोलीबारी शुरू कर दी। पुलिस की जवाबी फायरिंग में आलोक उर्फ राहुल तुरी को गोली लगी और वह घायल हो गया। कुछ देर बाद उसने दम तोड़ दिया। वहीं, एक अन्य अपराधी आकाश करमाली को पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया।
आलोक उर्फ राहुल तुरी का काले कारनामों का इतिहास
आलोक उर्फ राहुल तुरी की मौत झारखंड के विभिन्न हिस्सों में उसके काले कारनामों का अंत साबित हुई। वह उरीमारी के झामुमो नेता और सीसीएल कर्मी संतोष सिंह की हत्या का मुख्य आरोपी था, जिसकी जिम्मेदारी उसने खुद ली थी। इसके अलावा, आलोक उर्फ राहुल तुरी पर हजारीबाग, रामगढ़, रांची, चतरा और लातेहार जिलों में दर्जनों आपराधिक मामले थे। उसने खलारी और बुढ़मू थाने में भी कई आपराधिक घटनाओं को अंजाम दिया था।
रांची पुलिस भी थी आलोक की तलाश में
आलोक उर्फ राहुल तुरी पर रांची पुलिस की भी तीन मामलों में नजर थी। उसने खलारी थाना क्षेत्र में वाहनों में आगजनी और फायरिंग की घटनाओं को अंजाम दिया था। इसके अलावा, बुढ़मू थाना क्षेत्र स्थित छापर बालू घाट पर लेवी के लिए वाहनों को निशाना बनाते हुए आगजनी और फायरिंग की थी। आलोक पहले टीपीसी के लिए काम करता था, लेकिन बाद में उसने अपना गैंग बना लिया और आपराधिक गतिविधियों को अंजाम देना शुरू कर दिया था।
एसआईटी टीम ने की थी गिरफ्तारी की तैयारी
संतोष सिंह की हत्या के बाद हजारीबाग पुलिस ने अपराधियों की गिरफ्तारी के लिए एसआईटी टीम का गठन किया था। बड़कागांव एसडीपीओ पवन कुमार के नेतृत्व में बनाई गई एसआईटी टीम ने अपराधियों के खिलाफ लगातार अभियान चलाया और अंततः आलोक उर्फ राहुल तुरी को ढूंढ निकाला।
अशांति फैलानेवालों का यही हाल होता है: एसपी
हजारीबाग के एसपी अरविंद कुमार सिंह ने इस मुठभेड़ की पुष्टि करते हुए कहा कि यह कार्रवाई अपराधियों के खिलाफ थी, जो क्षेत्र में अशांति फैलाने की कोशिश कर रहे थे। उन्होंने कहा, "अशांति फैलानेवालों का यही हाल होता है।" इस कार्रवाई से पुलिस ने यह संदेश दिया है कि अपराधियों को किसी भी हालत में बख्शा नहीं जाएगा।
आलोक उर्फ राहुल तुरी की मौत के बाद, झारखंड के विभिन्न जिलों में होने वाली आपराधिक घटनाओं में कमी की उम्मीद जताई जा रही है। पुलिस की इस कार्रवाई से अपराधियों को एक कड़ा संदेश मिला है। वहीं, स्थानीय जनता को उम्मीद है कि अब उनके इलाके में शांति का माहौल बनेगा।
What's Your Reaction?