Hazaribagh Crime: अफीम तस्करी का बड़ा खुलासा, 700 ग्राम अफीम और 1 लाख कैश के साथ 5 गिरफ्तार
हजारीबाग पुलिस ने अंतरराज्यीय अफीम तस्करी गिरोह का पर्दाफाश करते हुए 700 ग्राम अफीम और 1 लाख रुपये कैश के साथ 5 तस्करों को गिरफ्तार किया।
हजारीबाग: क्या आपने सुना है? हजारीबाग पुलिस ने अंतरराज्यीय अफीम तस्करी गिरोह का भंडाफोड़ करते हुए 700 ग्राम अफीम और 1 लाख रुपये कैश के साथ पांच तस्करों को गिरफ्तार किया है। इस सफलता ने जिले में हलचल मचा दी है।
कैसे हुआ खुलासा?
बड़कागांव एसडीपीओ पवन कुमार ने बताया कि हजारीबाग एसपी अरविंद कुमार सिंह को गुप्त सूचना मिली थी कि केरेडारी के तरेशा इलाके में एक बाइक सवार अफीम लेकर गुजरने वाला है। इस सूचना पर कार्रवाई करते हुए पुलिस ने वाहन चेकिंग शुरू की। इसी दौरान एक बाइक सवार पुलिस को देख भागने लगा। पुलिस ने पीछा कर उसे धर दबोचा।
पकड़े गए आरोपी ने अपना नाम बैजनाथ महतो (केरेडारी थाना क्षेत्र के बिलारी हवाई गांव निवासी) बताया। तलाशी में उसकी बाइक की डिक्की से 700 ग्राम अफीम और 1 लाख रुपये कैश बरामद किए गए। पूछताछ में उसने बताया कि वह चतरा सिमरिया के इचाक खुर्द के जागेश्वर डांगी से अफीम लेकर उत्तर प्रदेश के तस्करों को सप्लाई करने जा रहा था।
यूपी के तस्करों की गिरफ्तारी
बैजनाथ की निशानदेही पर पुलिस ने चौपारण में घेराबंदी कर यूपी के तीन अफीम तस्करों को गिरफ्तार किया। गिरफ्तार आरोपियों में:
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अतीक अली (अलालागंज, शाहजहांपुर निवासी)
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मोहम्मद अफनान (काट गांव निवासी)
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सनर (पिता अलीराज)
इनके पास से एक कार, चार मोबाइल और अफीम बरामद की गई। पूछताछ में इन तस्करों ने अपना अपराध कबूल किया और बताया कि वे लंबे समय से अफीम तस्करी के धंधे में संलिप्त हैं।
अफीम तस्करी का इतिहास और गोरखधंधा
अफीम की तस्करी भारत में एक लंबे समय से संगठित अपराध का हिस्सा रही है। मुगल काल से लेकर ब्रिटिश शासन तक, अफीम व्यापार का इस्तेमाल बड़े स्तर पर किया गया। आज भी यह तस्करी सीमावर्ती राज्यों के जरिए की जाती है, जहां अवैध खेती और बिक्री से अपराधी मुनाफा कमाते हैं।
पुलिस की रणनीति और सफलता
पुलिस अधीक्षक अरविंद कुमार सिंह ने बताया कि यह कार्रवाई पुलिस की कड़ी सतर्कता और गुप्त सूचना के आधार पर संभव हुई। छापेमारी दल में शामिल पदाधिकारी:
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बड़कागांव एसडीपीओ पवन कुमार
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केरेडारी थाना प्रभारी विवेक कुमार
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सब इंस्पेक्टर अनूप कुमार
इन सभी अधिकारियों ने सशस्त्र बलों के साथ मिलकर इस अभियान को सफल बनाया।
सवाल उठता है – अफीम तस्करी पर कब लगेगी रोक?
हजारीबाग पुलिस की इस बड़ी कार्रवाई ने फिर से एक बड़ा सवाल खड़ा किया है – आखिर कब तक देश में नशे का कारोबार यूं ही चलता रहेगा? पुलिस की सख्ती के बावजूद ऐसे अपराधी कैसे बच निकलते हैं? यह मामला कानून व्यवस्था और समाज में जागरूकता बढ़ाने की जरूरत को उजागर करता है।
आगे की कार्रवाई
पुलिस अब गिरफ्तार आरोपियों से पूछताछ कर रही है, जिससे और भी बड़े खुलासे होने की संभावना है। पुलिस इस तस्करी गिरोह के नेटवर्क को पूरी तरह खत्म करने की तैयारी में है।
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