Jharkhand Weather: झारखंड में बढ़ती ठंड और बादलों की घेराबंदी, 4 दिसंबर से मौसम में होगा बड़ा बदलाव।
बंगाल की खाड़ी से उठा फेंगल तूफान, जो हाल ही में चेन्नई तट पर पहुंचने के बाद कमजोर हो गया, ने झारखंड में मौसम को एक नया मोड़ दे दिया है। रविवार को रांची और राज्य के कई अन्य हिस्सों में बादलों ने अपने घर की तरह कब्जा जमा लिया। इसने हल्की बारिश को भी जन्म दिया, जिससे पश्चिमी सिंहभूम में 12.0 मिमी और सिमडेगा में 2.5 मिमी बारिश दर्ज की गई।
मौसम में बदलाव: कोल्हान में तापमान में गिरावट
मौसम विभाग रांची के वैज्ञानिक अभिषेक आनंद ने जानकारी दी कि आने वाले दो दिन यानी सोमवार और मंगलवार तक राज्य के अधिकांश हिस्सों में बादल छाए रहेंगे। इस दौरान कोल्हान में अधिकतम तापमान सामान्य से तीन डिग्री गिरकर जमशेदपुर में 25.1 डिग्री और न्यूनतम तापमान 18.0 डिग्री तक पहुंच गया। खासकर कोल्हान क्षेत्र में सरायकेला का न्यूनतम तापमान 18.6 डिग्री, सिमडेगा का 17.5 डिग्री, पश्चिमी सिंहभूम का 16.9 डिग्री और खूंटी का 16.6 डिग्री दर्ज किया गया।
भविष्यवाणी: ठंड का मंजर होगा और तीव्र
मौसम विभाग के मुताबिक, चार दिसंबर से झारखंड के आसमान से बादलों की चादर हटने लगेगी और ठंड की दस्तक होगी। राजधानी रांची समेत पूरे राज्य में ठंड बढ़ने की संभावना है। विशेष रूप से, सुबह के समय धुंध और दिन के दौरान ठंडी हवा से पारा गिर सकता है। पश्चिम से आ रही ठंडी हवाओं के कारण तापमान सामान्य के करीब रहेगा।
इतिहास की झलक: झारखंड में ठंड का मौसम
झारखंड का मौसम अपने आप में एक अलग कहानी कहता है। इस राज्य में ठंड का मौसम आम तौर पर नवंबर से फरवरी तक का होता है। दिसंबर और जनवरी में सर्दी अपने चरम पर होती है, और इन महीनों में विशेष रूप से पहाड़ी इलाकों में तापमान 5 डिग्री से भी नीचे जा सकता है। पिछले कुछ वर्षों में, झारखंड के मौसम में बदलाव की गति ने लोगों को सतर्क कर दिया है, खासकर मौसम में अप्रत्याशित बदलावों को लेकर।
मौसम के कारण होने वाली हलचल
फेंगल तूफान ने राज्य में हलचल पैदा कर दी है, जिससे मौसम की करवट को लेकर अटकलें लगाई जा रही हैं। तूफान के कमजोर पड़ने के बाद भी इसके प्रभाव से झारखंड में लगातार बादल छाए रहे, जिससे किसानों और आम जनता के बीच चिंता बनी हुई है। खासकर कोल्हान क्षेत्र में, जहां कृषि कार्यों पर असर हो सकता है।
कुल मिलाकर
झारखंड में मौसम का यह बदलाव मौसम प्रेमियों और मौसम वैज्ञानिकों के लिए दिलचस्प है। बादलों की गहराई और ठंड की बढ़ती तीव्रता ने यह साबित कर दिया है कि इस बार ठंड का मौसम अपनी पूरी रफ्तार में होगा। आने वाले दिनों में ठंड के बढ़ते असर से झारखंड में ठंडी हवाओं के साथ सर्दी का अनुभव बढ़ेगा।
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