जमशेदपुर की संस्था 'प्रतिक संघर्ष फाउंडेशन' ने रचा इतिहास, 1075 से अधिक एसडीपी रक्तदान से बचाई अनगिनत जानें
जमशेदपुर की समाज सेवा में अग्रणी 'प्रतिक संघर्ष फाउंडेशन' ने 1075 से अधिक एसडीपी रक्तदान कर एक नया कीर्तिमान स्थापित किया। फाउंडेशन ने महाल्या के दिन रक्तवीरों को सम्मानित कर इस बड़ी सफलता को मनाया। जानें, कैसे फाउंडेशन लोगों की जान बचाने में जुटा है।
जमशेदपुर: समाज सेवा के क्षेत्र में एक महत्वपूर्ण कदम उठाते हुए जमशेदपुर की संस्था 'प्रतिक संघर्ष फाउंडेशन' ने एसडीपी (सिंगल डोनर प्लेटलेट्स) रक्तदान के क्षेत्र में एक बड़ा कीर्तिमान स्थापित किया है। फाउंडेशन ने 1075 से अधिक एसडीपी रक्तदान कर यह दिखाया है कि मानवता की सेवा में उनके योगदान का कोई मुकाबला नहीं। नवरात्रि की शुरुआत यानी महाल्या के दिन इस उपलब्धि का जश्न मनाने के लिए फाउंडेशन ने एक सम्मान समारोह का आयोजन किया।
यह सम्मान समारोह जमशेदपुर ब्लड सेंटर में आयोजित किया गया था, जहां संस्था ने उन सभी रक्तवीर योद्धाओं को सम्मानित किया जिन्होंने अपने रक्तदान से अनेकों की जान बचाई है। समारोह में 10 पौंड का केक काटकर इस सफलता को मनाया गया और इसके बाद सभी रक्तवीरों को शाल ओढ़ाकर, गुलदस्ता और पौधा भेंट कर सम्मानित किया गया। यह आयोजन एक प्रेरणा था, जिससे समाज में रक्तदान की भावना को और मजबूती मिले।
फाउंडेशन के निदेशक अरिजीत सरकार ने बताया कि वर्ष 2018 में एसडीपी रक्तदान को एक मुहिम के रूप में शुरू किया गया था। आज इस मुहिम ने 1075 यूनिट एसडीपी रक्तदान का आंकड़ा पार कर लिया है। यह केवल एक संख्या नहीं है बल्कि उन सभी लोगों की जान बचाने का प्रमाण है जिन्हें एसडीपी की तत्काल आवश्यकता थी। अरिजीत ने अपने संबोधन में सभी रक्तवीर योद्धाओं का आभार जताया जिन्होंने इस मुहिम को सफल बनाया।
फाउंडेशन केवल जमशेदपुर तक सीमित नहीं है। इन दिनों संस्था शहर से बाहर कोलकाता में इलाजरत अर्श नंदन के जीवन रक्षा के लिए भी प्रयासरत है। फाउंडेशन के सदस्य हर दो से तीन दिन में कोलकाता पहुंचकर एसडीपी रक्तदान कर रहे हैं, ताकि अर्श नंदन की जान बचाई जा सके। यह कार्य संस्था के सदस्यों की मानवीय भावना और सेवा के प्रति उनके समर्पण का बेहतरीन उदाहरण है।
समाज सेवा के कार्यों में अग्रणी रहने वाली यह संस्था जमशेदपुर में कई अन्य सामाजिक कार्यों में भी लगी हुई है। प्रतिक संघर्ष फाउंडेशन के इस बड़े कदम ने न केवल जमशेदपुर बल्कि देश भर में एक मिसाल कायम की है। एसडीपी रक्तदान के क्षेत्र में इतनी बड़ी सफलता हासिल करना समाज सेवा के क्षेत्र में उनके अथक प्रयासों का परिणाम है। फाउंडेशन का उद्देश्य है कि इस तरह के प्रयासों से समाज में रक्तदान के प्रति जागरूकता फैलाई जाए और अधिक से अधिक लोग इस पुण्य कार्य में भागीदारी करें।
अरिजीत सरकार ने बताया कि संस्था का यह प्रयास निरंतर जारी रहेगा और भविष्य में भी वे जरूरतमंदों की मदद करने के लिए तैयार रहेंगे। उन्होंने सभी रक्तदाताओं से अपील की कि वे इसी तरह आगे भी इस मुहिम में बढ़-चढ़कर हिस्सा लें। फाउंडेशन का उद्देश्य स्पष्ट है - मानवता की सेवा के लिए आगे आना और जरूरतमंदों को समय पर सहायता प्रदान करना।
समारोह में उपस्थित लोगों ने इस बात को भी स्वीकारा कि रक्तदान महादान है और इसमें हर किसी को अपनी भूमिका निभानी चाहिए। "प्रतिक संघर्ष फाउंडेशन" के इस प्रयास ने साबित कर दिया है कि जब समाज में लोग एक साथ मिलकर किसी नेक कार्य में जुटते हैं, तो कोई भी बाधा उन्हें रोक नहीं सकती।
संस्था के इस योगदान ने जमशेदपुर को गर्व महसूस कराया है और यह उम्मीद जताई जा रही है कि भविष्य में भी ऐसे कार्य होते रहेंगे, जो समाज के प्रति हमारी जिम्मेदारियों को पूरा करते हैं।
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