Dhanbad Action: विजलेंस टीम का बड़ा छापा, दो टीटीई के पास मिली अतिरिक्त नकदी
धनबाद में गोड्डा-रांची एक्सप्रेस पर विजलेंस टीम की बड़ी कार्रवाई। टीटीई से मिली अतिरिक्त नकदी ने रेलवे प्रशासन को हिला दिया। जानें पूरी कहानी।
धनबाद रेल मंडल के लिए बुधवार की रात चौंकाने वाली साबित हुई। 18620 गोड्डा-रांची एक्सप्रेस में विजलेंस टीम की अचानक छापेमारी ने रेलवे में टिकट चेकिंग स्टाफ की कार्यशैली पर सवाल खड़े कर दिए हैं। इस दौरान धनबाद मंडल के दो टीटीई (गौरव पांडे और नरेश खंडवे) के पास चार से छह हजार रुपये की अघोषित नकदी बरामद हुई।
यह कार्रवाई पूर्व मध्य रेलवे हाजीपुर मुख्यालय की विजलेंस टीम ने की। टीम ने मधुपुर स्टेशन से ट्रेन में सवार होकर जांच शुरू की, जिसमें कई अनियमितताएं उजागर हुईं।
कैसे हुई कार्रवाई?
गोड्डा से रांची जा रही 18620 गोड्डा-रांची एक्सप्रेस के एसी डिब्बों में सफर कर रहे यात्रियों की टिकटों की जांच के दौरान विजलेंस टीम ने दो टीटीई को निशाने पर लिया।
- टीम ने उनकी तलाशी ली और उनके पास से घोषित राशि से अधिक नकदी पाई गई।
- पूछताछ के दौरान टीटीई इस नकदी के स्रोत का कोई ठोस जवाब नहीं दे सके।
क्या था विजलेंस टीम का उद्देश्य?
विजलेंस टीम रेलवे की धन उगाही और भ्रष्टाचार पर लगाम लगाने के उद्देश्य से यह अभियान चला रही है।
- इस ऑपरेशन के तहत टिकट चेकिंग स्टाफ द्वारा बिना रसीद दिए वसूली की जांच की जा रही थी।
- जांच में यह भी देखा गया कि क्या यात्रियों को सही ढंग से टिकट जारी किए गए हैं या नहीं।
टीटीई की कार्यशैली पर सवाल
गौरव पांडे और नरेश खंडवे, दोनों ही धनबाद रेल मंडल के वरिष्ठ टिकट चेकिंग स्टाफ हैं।
- दोनों पहले 18619 रांची-गोड्डा एक्सप्रेस लेकर गोड्डा गए थे।
- वापसी में 18620 गोड्डा-रांची एक्सप्रेस में मधुपुर स्टेशन पर विजलेंस टीम ने उन्हें जांच के दायरे में लिया।
टीम की जांच में कई गड़बड़ियां पाई गईं, जिससे यह आशंका मजबूत हुई कि यात्रियों से अवैध वसूली की जा रही थी।
रेलवे में भ्रष्टाचार: एक ऐतिहासिक नजरिया
भारतीय रेलवे में भ्रष्टाचार के आरोप कोई नई बात नहीं हैं।
- 1990 के दशक में, रेलवे के टीटीई और बुकिंग स्टाफ पर यात्रियों से बिना रसीद लिए वसूली के कई मामले सामने आए थे।
- रेलवे ने इस तरह के मामलों पर लगाम लगाने के लिए विजलेंस और डिजिटल टिकटिंग जैसे कई उपाय लागू किए।
हालांकि, यह घटना बताती है कि समस्या पूरी तरह खत्म नहीं हुई है।
आगे क्या होगा?
विजलेंस टीम अब अपनी रिपोर्ट तैयार कर रही है, जो धनबाद रेल मंडल को सौंपी जाएगी।
- रिपोर्ट के आधार पर तय होगा कि दोनों टीटीई पर क्या कार्रवाई होगी।
- संभावना है कि अगर अनियमितताएं साबित होती हैं, तो दोनों को निलंबित या ड्यूटी से हटाया जा सकता है।
यात्रियों का क्या कहना है?
इस घटना ने यात्रियों के बीच भी हलचल मचा दी है।
- कई यात्रियों का कहना है कि टीटीई अक्सर अघोषित भुगतान की मांग करते हैं।
- कुछ यात्रियों ने विजलेंस टीम की कार्रवाई की सराहना की और इसे आवश्यक कदम बताया।
रेलवे का बयान
धनबाद रेल मंडल के अधिकारियों ने इस घटना को गंभीरता से लिया है।
- रेलवे का कहना है कि अनियमितताओं पर सख्त कार्रवाई होगी।
- यह सुनिश्चित किया जाएगा कि भविष्य में इस तरह की घटनाएं न हों।
गोड्डा-रांची एक्सप्रेस में विजलेंस टीम की कार्रवाई ने एक बार फिर रेलवे में भ्रष्टाचार के मुद्दे को उजागर कर दिया है। यह घटना रेलवे प्रशासन के लिए चेतावनी है कि वह अपने स्टाफ की कार्यशैली पर नजर रखे।
रेलवे यात्रियों को भी सतर्क रहने और किसी भी अनियमितता की सूचना देने की जरूरत है, ताकि भारतीय रेलवे की छवि और सेवाओं को बेहतर बनाया जा सके।
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