Saraikela Traffic Change: टाटा-कांड्रा रोड पर ट्रैफिक सिग्नल का शुभारंभ, अब सीसीटीवी से होगी सख्त निगरानी और ऑनलाइन कटेगा चालान!

सरायकेला-खरसवां जिले में पहली बार ट्रैफिक सिग्नल लगाए गए। जानिए कैसे यह सिस्टम शहर की ट्रैफिक व्यवस्था को बदल सकता है और लोगों की सुरक्षा सुनिश्चित करेगा।

Mar 21, 2025 - 18:07
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Saraikela Traffic Change: टाटा-कांड्रा रोड पर ट्रैफिक सिग्नल का शुभारंभ, अब सीसीटीवी से होगी सख्त निगरानी और ऑनलाइन कटेगा चालान!
Saraikela Traffic Change: टाटा-कांड्रा रोड पर ट्रैफिक सिग्नल का शुभारंभ, अब सीसीटीवी से होगी सख्त निगरानी और ऑनलाइन कटेगा चालान!

सरायकेला-खरसवां जिले के टाटा-कांड्रा मुख्य मार्ग पर शुक्रवार को एक बड़ा बदलाव देखने को मिला। जिले में पहली बार सीएसआर (कॉर्पोरेट सोशल रिस्पॉन्सिबिलिटी) के तहत ट्रैफिक सिग्नल लगाए गए, जिसका औपचारिक उद्घाटन उपायुक्त रविशंकर शुक्ला और एसपी मुकेश कुमार लुणायत ने किया। इस नई व्यवस्था से शहर की ट्रैफिक समस्या को दूर करने और सड़क दुर्घटनाओं में कमी लाने की उम्मीद की जा रही है।

इतिहास से सीख और नया बदलाव

झारखंड में ट्रैफिक व्यवस्था लंबे समय से बड़ी चुनौती रही है। खासकर टाटा-कांड्रा रोड पर रोजाना हजारों वाहन गुजरते हैं, जिससे जाम और दुर्घटनाएं आम हो चुकी थीं। इतिहास गवाह है कि पहले भी ट्रैफिक नियंत्रण के लिए कई प्रयास हुए, लेकिन तकनीकी साधनों की कमी और लोगों में जागरूकता के अभाव के कारण वे कारगर साबित नहीं हुए। इस बार प्रशासन ने टेक्नोलॉजी का सहारा लेते हुए स्मार्ट ट्रैफिक सिग्नल सिस्टम को लागू किया है, जिससे ट्रैफिक नियमों का उल्लंघन करने वालों पर भी नजर रखी जा सकेगी।

शहरवासियों से लिया गया फीडबैक

सिग्नल प्रणाली को बेहतर बनाने के लिए उपायुक्त और एसपी ने जियाडा सभागार में आम नागरिकों, अधिकारियों और ट्रैफिक विभाग के साथ बैठक की। इसमें शहरवासियों से ट्रैफिक सिग्नल पर उनकी राय और सुझाव लिए गए। डीसी रविशंकर शुक्ला ने बताया कि ट्रायल के दौरान मिले फीडबैक को ध्यान में रखते हुए आगे बदलाव किए जाएंगे।

बैठक में मौजूद लोगों ने ट्रैफिक सिग्नल को दुर्घटनाओं को रोकने में बेहद कारगर बताया। कई लोगों ने यह भी बताया कि सिग्नल लगने से रैश ड्राइविंग में कमी आई है और सड़क पर अनुशासन बढ़ा है।

सिग्नल ब्रेक करने वालों पर होगी कड़ी कार्रवाई

बैठक में यह भी घोषणा की गई कि अप्रैल माह से सभी ट्रैफिक सिग्नलों के ऊपर सीसीटीवी कैमरे लगाए जाएंगे, जो नियम तोड़ने वालों की पहचान कर ऑनलाइन चालान भेजेंगे। इस फैसले का उद्देश्य यह सुनिश्चित करना है कि लोग ट्रैफिक नियमों का सख्ती से पालन करें और सड़क पर अनावश्यक अव्यवस्था ना फैलाएं।

महत्वपूर्ण सुझाव और बदलाव

  • सड़क पर मार्किंग और ज़ेब्रा क्रॉसिंग की मांग: लोगों ने सुझाव दिया कि सिग्नल के पास वाहनों के रुकने की स्पष्ट मार्किंग और पैदल यात्रियों के लिए ज़ेब्रा क्रॉसिंग होनी चाहिए। इस पर पथ निर्माण विभाग ने कहा कि सड़क की मरम्मत के बाद इसे लागू किया जाएगा।
  • सिग्नल टाइमिंग में सुधार: खासकर लाल बिल्डिंग चौक के सिग्नल टाइमिंग को लेकर बदलाव की मांग उठी, जिसे जल्द ही लागू किया जाएगा।
  • स्ट्रीट लाइटिंग की जरूरत: मुख्य मार्ग पर स्ट्रीट लाइटिंग की भी आवश्यकता बताई गई, ताकि रात के समय दुर्घटनाओं को रोका जा सके।
  • सिग्नल बंद करने का विरोध: कुछ लोगों ने किसी भी ट्रैफिक सिग्नल को बंद करने के प्रस्ताव का विरोध किया और कहा कि इसे परिस्थिति के अनुसार संचालित किया जाए।

झारखंड में ट्रैफिक सुधार की दिशा में बड़ा कदम

सरायकेला-खरसवां जिले में यह पहल झारखंड के अन्य शहरों के लिए भी मिसाल बन सकती है। अगर यह मॉडल सफल रहता है, तो राज्य के अन्य व्यस्त मार्गों पर भी इसे लागू किया जा सकता है। स्मार्ट ट्रैफिक सिग्नल सिस्टम से जहां सड़क पर अनुशासन बढ़ेगा, वहीं दुर्घटनाओं में भी कमी आने की संभावना है।

सरायकेला-खरसवां जिले में ट्रैफिक सिग्नल का यह नया सिस्टम लोगों की सुरक्षा और सड़क व्यवस्था को सुचारू बनाने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है। आने वाले दिनों में इसके प्रभाव और बदलावों को देखने के लिए सभी की नजरें इस पर टिकी रहेंगी।

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Nihal Ravidas निहाल रविदास, जिन्होंने बी.कॉम की पढ़ाई की है, तकनीकी विशेषज्ञता, समसामयिक मुद्दों और रचनात्मक लेखन में माहिर हैं।