दुबई में फंसे आजादनगर के दो युवक: परिजनों ने एसएसपी से लगाई गुहार, जानें पूरी कहानी
आजादनगर के दो युवक फारुक और आफताब दुबई में नौकरी के झांसे में फंस गए। परिजनों ने एसएसपी से मिलकर उन्हें वापस लाने की गुहार लगाई है। जानें पूरी कहानी और एसएसपी द्वारा दिए गए जांच के आदेश।
आजादनगर थाना क्षेत्र के बगानसाही रोड नंबर 7 के निवासी फारुक और आफताब आलम अंसारी दुबई में फंस गए हैं। उनके परिजनों ने एसएसपी से मिलकर दोनों को वापस लाने की गुहार लगाई है। परिजनों ने एसएसपी को लिखित शिकायत सौंपी है, जिसमें बताया गया है कि मानगो में एक ट्रेनिंग इंस्टीट्यूट के संचालक आमिर ने दुबई की एक अच्छी कंपनी में नौकरी दिलाने का झांसा दिया था। इसके लिए दोनों युवकों से आमिर ने 75-75 हजार रुपये लिए थे।
नौकरी का झांसा और दुबई में फंसने की कहानी
1 जून को फारुक और आफताब ने मुंबई से दुबई के लिए उड़ान भरी। दुबई पहुंचने के बाद उन्हें पता चला कि जिस कंपनी में उन्हें काम करने को कहा गया था, वह दूसरी कंपनी है और वेतन भी कम है। कंपनी ने दोनों से एक एग्रीमेंट भी साइन करवाया, जिसमें लिखा गया कि दो साल से पहले कंपनी नहीं छोड़ सकते। अगर दो साल से पहले कंपनी छोड़ी तो 6 हजार दिहरम (लगभग 1.20 लाख रुपये) देने होंगे। जब फारुक और आफताब ने विरोध किया तो कंपनी ने उन्हें निकाल दिया और उनके पासपोर्ट भी रख लिए।
दुबई में कठिनाइयों का सामना
अब फारुक और आफताब दुबई की सड़कों पर किसी तरह जीवन यापन कर रहे हैं। दोनों का दुबई का वीजा 2 जुलाई तक ही वैध है। परिजनों ने इस संबंध में एजेंट आमिर से भी बात की, लेकिन आमिर ने कंपनी को रुपये देने पर ही जोर डाला। परिजनों ने आजादनगर थाना में शिकायत करने की कोशिश की, लेकिन पुलिस ने शिकायत नहीं ली। मजबूरन, परिजनों को एसएसपी की शरण में जाना पड़ा।
एसएसपी का हस्तक्षेप और जांच के आदेश
एसएसपी ने आजादनगर थाना प्रभारी को मामले की जांच के आदेश दिए हैं। परिजनों को उम्मीद है कि पुलिस और प्रशासन की मदद से उनके बेटे सुरक्षित वापस लौट सकेंगे।
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