World TB Day : टीबी का खात्मा होगा या खतरा बरकरार? जानें 2025 की थीम और इतिहास!
विश्व टीबी दिवस 2025 की थीम, इतिहास और महत्व जानें। क्या टीबी का अंत संभव है? जानिए लक्षण, बचाव और इलाज के बारे में।

हर साल 24 मार्च को विश्व टीबी दिवस (World TB Day) मनाया जाता है, लेकिन क्या हम इस जानलेवा बीमारी को खत्म करने के करीब हैं? दुनिया भर में लाखों लोगों की जान लेने वाली ट्यूबरकुलोसिस (टीबी) का आतंक अब भी बरकरार है। हालांकि, इस बीमारी से निपटने के लिए साल 2000 से अब तक करीब 7 करोड़ लोगों की जान बचाई जा चुकी है, लेकिन क्या वाकई हम इसे पूरी तरह खत्म कर सकते हैं? आइए जानते हैं इस दिन का इतिहास, इसका महत्व और इस साल की थीम।
कैसे हुई टीबी की पहचान?
24 मार्च 1882 को डॉ. रॉबर्ट कोच ने दुनिया को बताया कि टीबी जैसी घातक बीमारी का कारण माइकोबैक्टीरियम ट्यूबरकुलोसिस नामक बैक्टीरिया है। उनकी इस खोज से टीबी के इलाज और रोकथाम में एक बड़ा बदलाव आया। 1982 में विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) ने टीबी के प्रति जागरूकता बढ़ाने के लिए 24 मार्च को "विश्व टीबी दिवस" घोषित किया।
क्यों मनाया जाता है वर्ल्ड टीबी डे?
टीबी एक संक्रामक बीमारी है, जो सांस के जरिए एक व्यक्ति से दूसरे व्यक्ति में फैलती है। हर साल लाखों लोग इस बीमारी की चपेट में आते हैं, लेकिन सही जानकारी और इलाज से इसे रोका जा सकता है। इस दिन का उद्देश्य आम लोगों को टीबी के लक्षण, कारण और बचाव के तरीकों के बारे में जागरूक करना है।
क्या है 2025 की थीम?
इस साल वर्ल्ड टीबी डे 2025 की थीम है –
"हम टीबी को समाप्त कर सकते हैं: प्रतिबद्ध, निवेश, उद्धार" (We Can End TB: Commitment, Investment, Delivery)
इस थीम का मुख्य उद्देश्य दुनियाभर में यह संदेश फैलाना है कि सामूहिक प्रयास और जागरूकता से टीबी का उन्मूलन संभव है।
2024 की थीम थी – "Yes! We Can End TB!" यानी "हां, हम टीबी खत्म कर सकते हैं!"
टीबी के खतरनाक लक्षण
अगर ये लक्षण दिखें, तो तुरंत डॉक्टर से संपर्क करें:
रात में पसीना आना और तेज बुखार
भूख कम लगना और तेजी से वजन घटना
लगातार कमजोरी और थकान
सांस लेने में दिक्कत और सीने में दर्द
लगातार खांसी, खून या बलगम आना
गांठों में सूजन और जोड़ों में दर्द
किडनी या मूत्राशय में संक्रमण के कारण पेशाब में खून आना
टीबी से बचाव कैसे करें?
बीसीजी वैक्सीन (BCG Vaccine) लगवाएं।
टीबी के मरीज से दूरी बनाएं, खासकर भीड़भाड़ वाली जगहों पर।
साफ-सफाई का ध्यान रखें और मास्क पहनें।
अगर लक्षण दिखें तो तुरंत जांच कराएं और पूरा इलाज लें।
क्या वाकई खत्म होगा टीबी?
विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) का लक्ष्य 2030 तक टीबी को पूरी तरह खत्म करने का है, लेकिन इसमें सबसे बड़ी चुनौती है जागरूकता की कमी और अधूरा इलाज। कई लोग लक्षण दिखने के बावजूद इलाज नहीं कराते, जिससे यह बीमारी और फैलती है। टीबी को जड़ से खत्म करने के लिए जरूरी है कि हर कोई इसकी गंभीरता को समझे और जागरूक बने।
टीबी भले ही खतरनाक बीमारी हो, लेकिन यह 100% ठीक की जा सकती है, अगर सही समय पर इलाज हो। हर साल लाखों लोग इसकी चपेट में आते हैं, लेकिन जागरूकता और सही कदम उठाकर हम इस बीमारी को हमेशा के लिए खत्म कर सकते हैं। अब वक्त आ गया है कि हम सब मिलकर "टीबी मुक्त दुनिया" बनाने की दिशा में कदम बढ़ाएं।
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