Ranchi Visit: रघुवर दास पहुंचे शिबू सोरेन के पास, जन्म दिवस पर दी बधाई, क्या होगा आगामी चुनावों पर असर?
रघुवर दास ने शिबू सोरेन के जन्म दिवस पर उन्हें बधाई दी और उनके आशीर्वाद के साथ-साथ झारखंड की राजनीति पर अहम बातचीत की। जानें, इस मुलाकात का क्या असर पड़ेगा आगामी चुनावों पर!
रांची, झारखंड: झारखंड के पूर्व मुख्यमंत्री रघुवर दास का राजनीतिक सफर एक बार फिर सुर्खियों में है। शुक्रवार को भारतीय जनता पार्टी (भा.ज.पा.) में फिर से अपनी सदस्यता लेने के बाद, अगले दिन यानी शनिवार को उन्होंने झामुमो सुप्रीमो शिबू सोरेन से मिलने उनके आवास पर पहुंचे। यह मुलाकात कई अहम राजनीतिक चर्चाओं और आगामी चुनावों के दृष्टिकोण को लेकर चर्चा के लिए महत्वपूर्ण रही।
रघुवर दास ने शिबू सोरेन को उनके जन्म दिवस पर बधाई दी और पैर छूकर उनका आशीर्वाद लिया। इस दौरान, उन्होंने शिबू सोरेन की पत्नी रूपी सोरेन से भी मुलाकात की और उनका भी आशीर्वाद लिया। यह मुलाकात न केवल व्यक्तिगत थी, बल्कि राज्य की राजनीति और भाजपा की आगामी रणनीतियों पर भी चर्चा हुई। इस मुलाकात ने राजनीतिक गलियारों में कई चर्चाएँ और अटकलें भी शुरू कर दी हैं।
रघुवर दास ने सोशल मीडिया पर दी जानकारी
रघुवर दास ने इस मुलाकात और अपने भाजपा सदस्यता अभियान को लेकर सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स (पूर्व में ट्विटर) पर एक पोस्ट शेयर किया। उन्होंने बताया कि 10 जनवरी को भाजपा की सदस्यता ग्रहण करने के बाद, यह उनकी पहली महत्वपूर्ण मुलाकात थी। उन्होंने कहा कि झारखंड की अस्मिता, संस्कृति और परंपरा को लेकर हमले हो रहे हैं, और इस मुद्दे को आगामी भाजपा चुनावी अभियान में प्रमुख रूप से उठाया जाएगा।
इसके साथ ही, रघुवर दास ने घुसपैठ और धर्मांतरण जैसे मुद्दों को उठाने की बात की। उनका मानना है कि यह दोनों मुद्दे भाजपा के आगामी चुनावी अभियान में एक प्रमुख भूमिका निभाएंगे। उन्होंने कहा, "हम सभी धर्मों का सम्मान करते हैं, लेकिन किसी को लोभ, लालच या भय दिखाकर धर्म परिवर्तन कराना असंवैधानिक है।"
भाजपा का राज्यहित में सहयोग देने का बयान
रघुवर दास ने राज्यहित में गठबंधन सरकार से सहयोग की बात भी की। उनका कहना था कि अगर राज्य सरकार भाजपा से सहयोग की उम्मीद करती है, तो पार्टी सहयोग देने को तैयार है। उन्होंने साफ कहा कि भाजपा किसी भी पार्टी से टकराव की स्थिति पैदा नहीं होने देगी। उनका उद्देश्य सिर्फ राज्य के विकास में सहयोग करना है, न कि राजनीतिक संघर्ष को बढ़ावा देना।
रघुवर दास ने पार्टी कार्यकर्ताओं से आह्वान किया कि वे भाजपा सदस्यता अभियान में सक्रिय रूप से भाग लें। उन्होंने कार्यकर्ताओं से कहा, "आप पार्टी को दो घंटे दें, और भाजपा सदस्यता अभियान को सफल बनाएं। यह राष्ट्र की सेवा का हिस्सा है।" यह आह्वान भाजपा के सदस्यता अभियान को गति देने के लिए एक अहम कदम माना जा रहा है।
झारखंड की राजनीति में हो सकती है हलचल
इस मुलाकात ने झारखंड की राजनीति में नई हलचल पैदा कर दी है। रघुवर दास और शिबू सोरेन के बीच की यह बातचीत आगामी चुनावों की दिशा और भाजपा की रणनीतियों पर महत्वपूर्ण असर डाल सकती है। राज्य में भाजपा और झामुमो के रिश्ते हमेशा से ही उतार-चढ़ाव वाले रहे हैं, और इस मुलाकात को लेकर राजनीतिक विश्लेषक यह मान रहे हैं कि आगामी दिनों में कई बड़े घटनाक्रम सामने आ सकते हैं।
रघुवर दास के बयान और उनकी भाजपा में वापसी ने यह स्पष्ट कर दिया है कि भाजपा आगामी विधानसभा चुनावों में झारखंड की राजनीति में प्रमुख भूमिका निभाने के लिए तैयार है। साथ ही, उन्होंने यह भी कहा कि पार्टी का मुख्य उद्देश्य राज्य की संस्कृति, परंपरा, और अस्मिता को बचाना है, और इस दिशा में पार्टी कोई कसर नहीं छोड़ने वाली है।
2024 के चुनावी परिप्रेक्ष्य में महत्वपूर्ण घटनाक्रम
यह घटनाक्रम झारखंड विधानसभा चुनाव के लिए एक बड़ा संकेत हो सकता है। भाजपा और झामुमो के बीच की यह मुलाकात यह दिखाती है कि राज्य में राजनीतिक समीकरण बदलने जा रहे हैं। रघुवर दास की भाजपा में वापसी, और शिबू सोरेन से उनकी मुलाकात को लेकर कयासों का दौर तेज हो चुका है। आने वाले समय में यह दोनों नेता राज्य की राजनीति में किस प्रकार की रणनीतियों को आकार देंगे, यह देखना दिलचस्प होगा।
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