जिंदगी - योगेश आर साहू , महाराष्ट्र
जिंदगी - योगेश आर साहू , महाराष्ट्र
जिंदगी
आ कभी मेरे घर भी देख तू भी ज़िन्दगी
क्या दिया तूने मुझे और क्या मिल रहा
तुझको ज़िन्दा रखने की चाह में मैं मर रहा
चंद सांसे देकर तु अहसान हम पे करती है
तु हमेशा हर कही खुदगर्जी मे ही पलती है
इस ज़मीन पर फ़कत तु तो एक मेहमान है
मेज़बान माओ ने तेरे लिये फ़ाका किया
क्या दिया तूने मुझे और क्या मिल रहा|
इज़्ज़त के आगे दुनिया मे तेरी क्या औकात है
किसी के दामन मे फ़कत दाग की तो बात है
घुल जायेगी हवा मे धुल बनके तू कही
पानी के बुलबुले को अपने पर कभी नाज़ था
क्या दिया तूने मुझे और क्या मिल रहा
©®
Yogesh ramdular shahu
Nagpur , Maharashtra
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