घाटशिला Cattle Smuggling: पुलिस की बड़ी कार्रवाई, 65 गोवंश जब्त, 9 गिरफ्तार!
घाटशिला पुलिस ने गोवंश तस्करी पर की बड़ी कार्रवाई! 9 तस्कर गिरफ्तार, 65 गोवंश जब्त, तस्करों में मचा हड़कंप। जानिए कैसे हो रही थी तस्करी और पुलिस ने कैसे पकड़ा तस्करों का नेटवर्क?

घाटशिला: झारखंड के घाटशिला में अवैध गोवंश तस्करी के खिलाफ पुलिस ने बड़ी कार्रवाई करते हुए 65 गोवंश को जब्त किया और 9 तस्करों को गिरफ्तार किया है। इस पूरे ऑपरेशन की कीमत लगभग 25-30 लाख रुपये आंकी जा रही है। गुप्त सूचना के आधार पर की गई छापेमारी में पुलिस को यह बड़ी सफलता मिली।
सुबह 6 बजे मिली गुप्त सूचना, पुलिस ने बिछाया जाल
घाटशिला थाना क्षेत्र के फूलपाल इलाके से गोवंश को पश्चिम बंगाल के बांकुड़ा भेजने की तैयारी थी। पुलिस को 20 मार्च की सुबह करीब 6 बजे इसकी सूचना मिली। प्रशिक्षु आईपीएस ऋषभ त्रिवेदी के नेतृत्व में एक विशेष टीम का गठन किया गया और तस्करों की गतिविधियों पर नजर रखी गई। जैसे ही तस्कर गोवंश लेकर चापड़ी फुटबॉल मैदान के पास पहुंचे, पुलिस ने अचानक घेराबंदी कर छापेमारी कर दी।
छापेमारी में 9 तस्कर दबोचे गए, कई भागने में सफल
इस ताबड़तोड़ कार्रवाई में 9 तस्करों को गिरफ्तार किया गया, जबकि कुछ तस्कर अंधेरे का फायदा उठाकर फरार हो गए। पुलिस अब फरार तस्करों की गिरफ्तारी के लिए जोरशोर से छापेमारी कर रही है।
जब्त किए गए गोवंश को गौशाला भेजा गया
गिरफ्तार तस्करों से पूछताछ में पता चला कि गोवंश को बांग्लादेश तस्करी करने की योजना थी। जब्त किए गए सभी 65 गोवंश को चाकुलिया गौशाला भेजा गया, जहां उनकी देखभाल की जा रही है। पुलिस की इस कार्रवाई से तस्करों में खलबली मच गई है।
बालू माफियाओं के खिलाफ भी पुलिस सख्त
पशु तस्करों के अलावा, घाटशिला के श्यामसुंदरपुर थाना क्षेत्र में अवैध बालू कारोबार भी चरम पर है। हाल ही में प्रशासन ने कई बालू माफियाओं के खिलाफ कार्रवाई की थी, लेकिन उसके बावजूद तस्करी नहीं रुकी।
वन विभाग ने जब्त किया हजारों सीएफटी बालू
वन विभाग को सूचना मिली कि दूधियाशोल इलाके में वन भूमि पर हजारों सीएफटी बालू का अवैध भंडारण किया गया है। सूचना मिलते ही प्रशासन ने छापेमारी कर सारा बालू जब्त कर लिया और उसे बहरागोड़ा फॉरेस्ट रेस्ट हाउस भेजने का निर्णय लिया गया।
बालू और गोवंश तस्करों पर पुलिस की कड़ी नजर
पुलिस अब दोनों ही मामलों में सख्ती बरत रही है और तस्करों के नेटवर्क को ध्वस्त करने की योजना बना रही है। प्रशासन की यह कार्रवाई घाटशिला और आसपास के क्षेत्रों में अवैध तस्करी पर लगाम लगाने की दिशा में एक बड़ा कदम माना जा रहा है।
झारखंड में क्यों बढ़ रही गोवंश तस्करी?
झारखंड में गोवंश तस्करी लंबे समय से एक गंभीर मुद्दा बना हुआ है। सीमावर्ती राज्यों से होकर बांग्लादेश तक गायों की अवैध तस्करी की जाती है, जहां इनका मांस और चमड़ा महंगे दामों पर बेचा जाता है। पुलिस ने हाल के वर्षों में कई बड़े तस्कर गिरोहों का भंडाफोड़ किया है, लेकिन अभी भी यह धंधा गुपचुप तरीके से जारी है।
क्या होगा अगला कदम?
पुलिस अब फरार तस्करों की तलाश में जुटी है और अवैध तस्करी रोकने के लिए सुरक्षा बढ़ाने की योजना बना रही है। आने वाले दिनों में अवैध गोवंश तस्करों और बालू माफियाओं पर और कड़ी कार्रवाई हो सकती है।
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