जमशेदपुर: तुलसी को भारतीय संस्कृति में औषधीय गुणों और धार्मिक महत्व के लिए जाना जाता है। इसी क्रम में, C.P. समिति मध्य विद्यालय, केबल बस्ती में श्री योग वेदांत सेवा समिति द्वारा 25 दिसंबर से पहले तुलसी पूजन दिवस मनाया गया। यह आयोजन बच्चों को तुलसी के महत्व से अवगत कराने और उनके बीच जागरूकता बढ़ाने के उद्देश्य से किया गया।
कार्यक्रम में विद्यालय समिति के अध्यक्ष दिनेश कुमार ने बच्चों को बताया कि तुलसी न केवल एक पौधा है, बल्कि यह स्वास्थ्य, पर्यावरण और धार्मिक समृद्धि का प्रतीक भी है। उन्होंने कहा, "जिस घर में तुलसी का पूजन होता है, वहां सुख-शांति और धन-धान्य की भरमार रहती है। कोरोना काल में ऑक्सीजन की कमी को पूरा करने में तुलसी के पौधे ने अहम भूमिका निभाई।"
तुलसी का ऐतिहासिक और धार्मिक महत्व
तुलसी का उल्लेख भारत के प्राचीन ग्रंथों और आयुर्वेद में मिलता है। इसे "देवी तुलसी" के नाम से भी पूजा जाता है। तुलसी की पत्तियों में एंटीबायोटिक, एंटीऑक्सिडेंट और एंटीवायरल गुण होते हैं, जो इसे आयुर्वेदिक चिकित्सा का अभिन्न हिस्सा बनाते हैं।
2014 में केंद्र सरकार ने 25 दिसंबर को तुलसी पूजन दिवस के रूप में घोषित किया था। लेकिन योग वेदांत सेवा समिति वर्षों से इसे मनाते हुए बच्चों को तुलसी के औषधीय और पर्यावरणीय लाभों से परिचित कराती आ रही है।
बच्चों ने सीखा तुलसी पूजन का महत्व
कार्यक्रम के दौरान, लड़के और लड़कियों को तुलसी पूजन की विधि सिखाई गई। बच्चों ने बड़े उत्साह के साथ भाग लिया और तुलसी के औषधीय गुणों को समझा। इस आयोजन के माध्यम से यह संदेश दिया गया कि तुलसी न केवल स्वास्थ्य के लिए महत्वपूर्ण है, बल्कि यह पर्यावरण के संरक्षण में भी सहायक है।
कार्यक्रम का संचालन योग वेदांत सेवा समिति के शिवम द्वारा किया गया। समिति के मंजीत सिंह, मीना, और संजना ने आयोजन को सफल बनाने में अहम भूमिका निभाई।
उपस्थित गणमान्य और शिक्षकों की सहभागिता
इस अवसर पर विद्यालय समिति के महासचिव परमानंद कौशल, प्रभारी प्रधानाध्यापक अमित कुमार सिंह, उपाध्यक्ष सालिक दास देवांगन और राइजिंग सन इंग्लिश स्कूल की प्रधानाध्यापिका लुबना नूर खान मौजूद रहे।
शिक्षकों में हीरादास मानिकपुरी, कौशिक दत्ता, त्रिलोचन कौर, रेखा कुमारी, अनुसुइया कुमारी, सीमा, संगीता मेरी सुरेन, सुमन सिंह, तारकेश्वरी देवी, ऋचा मिश्रा, अन्नपूर्णा प्रधान, रीता शर्मा, कृतिका सिंह, दीक्षा साहू, अर्चना सिंह, इरम परवीन, कुमकुम सिंह, मुस्कान कुमारी सहित कई अन्य ने सहभागिता की।
तुलसी: घर-घर का औषधीय समाधान
तुलसी का उपयोग सर्दी-खांसी, बुखार और पाचन समस्याओं के इलाज में किया जाता है। इसमें एंटीऑक्सिडेंट्स की भरमार होती है, जो इम्यून सिस्टम को मजबूत बनाते हैं। कार्यक्रम के दौरान बच्चों ने तुलसी का पौधा रोपने और उसकी देखभाल करने का संकल्प भी लिया।
कार्यक्रम का उद्देश्य
योग वेदांत सेवा समिति का उद्देश्य केवल तुलसी के महत्व को प्रचारित करना नहीं है, बल्कि इसे हर घर तक पहुंचाना है। तुलसी को भारतीय जीवनशैली का हिस्सा बनाकर स्वास्थ्य और पर्यावरण को बेहतर किया जा सकता है।
यदि आपके घर में तुलसी का पौधा नहीं है, तो आज ही एक तुलसी का पौधा लगाएं। यह न केवल आपके परिवार के स्वास्थ्य के लिए लाभकारी होगा, बल्कि पर्यावरण संरक्षण में भी योगदान देगा।