Pope Francis Death: पोप फ्रांसिस के निधन से उठा बड़ा सवाल, अब कौन होगा नया धर्मगुरु?
वेटिकन में पोप फ्रांसिस का 88 वर्ष की उम्र में निधन हो गया है। अब ईसाई समुदाय में नया पोप कौन बनेगा, इस पर सस्पेंस गहराता जा रहा है। इतिहास, परंपरा और भावनाओं से भरी यह यात्रा जानिए विस्तार से।

वेटिकन से आई सबसे बड़ी खबर: दुनिया के सबसे बड़े ईसाई धर्मगुरु पोप फ्रांसिस अब इस दुनिया में नहीं रहे। 88 वर्ष की उम्र में उन्होंने वेटिकन में अपनी अंतिम सांस ली, और उनके निधन के साथ ही कैथोलिक चर्च का एक युग समाप्त हो गया। लेकिन असली सवाल अब यह है—अब कौन होगा अगला पोप?
बीते कुछ दिनों से उनकी सेहत लगातार गिरती जा रही थी। निमोनिया की गंभीर बीमारी और उम्र के कारण उनका शरीर बेहद कमजोर हो चुका था। आखिरी बार वे एक दिन पहले ईस्टर के मौके पर मीडिया के सामने आए थे, लेकिन वह भी व्हीलचेयर पर। संदेश देने के लिए भी उन्हें किसी और धर्मगुरु की मदद लेनी पड़ी।
पोप फ्रांसिस की विरासत:
पोप फ्रांसिस ने 13 मार्च 2013 को पोप के रूप में कार्यभार संभाला था। वे पहले लैटिन अमेरिकन पोप थे और अर्जेंटीना के ब्यूनस आयर्स से संबंध रखते थे। उनका असली नाम जोर्ज मारियो बेर्गोग्लियो था। उन्होंने चर्च में कई सुधार किए, पर्यावरण और सामाजिक न्याय पर खुलकर बोले, और LGBTQ+ समुदाय को लेकर भी अपेक्षाकृत उदार रुख अपनाया।
उन्होंने गरीबी, भ्रष्टाचार और पादरियों द्वारा यौन शोषण जैसे गंभीर मुद्दों पर सख्त रवैया अपनाया। यह बात उन्हें दुनिया भर के करोड़ों लोगों के लिए एक प्रेरणास्रोत बनाती है। उनकी विनम्रता, सादगी और मानवीय सोच ने उन्हें एक “जनता के पोप” की उपाधि दिलाई।
क्या होता है पोप के निधन के बाद?
कैथोलिक परंपरा के अनुसार, पोप के निधन के बाद वेटिकन सिटी में एक विशेष प्रक्रिया शुरू होती है। सबसे पहले उनके पार्थिव शरीर को सेंट पीटर्स बेसिलिका में आम जनता के अंतिम दर्शन के लिए रखा जाएगा। फिर ‘कॉन्क्लेव’ नामक एक गोपनीय बैठक में कार्डिनल्स नए पोप का चुनाव करेंगे।
यह प्रक्रिया औसतन 15 से 20 दिनों के भीतर पूरी हो सकती है, लेकिन इस बार अनुमान लगाया जा रहा है कि नए पोप के चयन में लगभग 3 महीने का समय लग सकता है।
क्या पोप फ्रांसिस को "संत" घोषित किया जाएगा?
कैथोलिक परंपरा में किसी भी पोप को “संत” (Saint) घोषित करने की प्रक्रिया काफी कठिन होती है। इसके लिए चमत्कारों के प्रमाण और वेटिकन की गहन जांच होती है। हालांकि पोप फ्रांसिस की छवि, उनके कार्य और विचारों को देखते हुए यह संभावना जताई जा रही है कि उन्हें “संत” की उपाधि दी जा सकती है।
नया पोप कौन?
अब सबसे बड़ा सवाल यही है कि अगला पोप कौन बनेगा? चर्च में पहले से ही कुछ नाम चर्चा में हैं, जिनमें अफ्रीका, एशिया और यूरोप के प्रभावशाली कार्डिनल्स शामिल हैं। अगर कोई अफ्रीकी कार्डिनल पोप बनता है तो यह इतिहास में पहली बार होगा।
एक युग का अंत, नया अध्याय शुरू
पोप फ्रांसिस का निधन केवल एक धार्मिक नेता के जाने की खबर नहीं है, यह एक विचारधारा, एक दिशा और एक इतिहास के अंत का प्रतीक भी है। वेटिकन में अब नया अध्याय शुरू होने जा रहा है, जो केवल ईसाई धर्म को ही नहीं, बल्कि पूरी दुनिया की राजनीति, समाज और धर्म के स्वरूप को प्रभावित करेगा।
अब सबकी नजरें वेटिकन पर हैं—नए पोप का नाम क्या होगा, कब चुना जाएगा और क्या वह भी पोप फ्रांसिस की तरह उदार और जनप्रिय होंगे?
पोप फ्रांसिस के जाने से एक बड़ा खालीपन पैदा हो गया है, जिसे भरना आसान नहीं होगा। उनके जीवन की सादगी, उनके विचारों की गहराई और उनके फैसलों की दूरदर्शिता आज भी लाखों लोगों के दिलों में बसी है। अगला पोप चाहे जो भी हो, उसे इस विरासत को आगे बढ़ाने की चुनौती जरूर मिलेगी।
What's Your Reaction?






