Chaibasa: Meeting News के अंतर्गत पश्चिमी सिंहभूम जिला प्रशासन ने आगामी त्योहारों जैसे क्रिसमस, न्यू ईयर, मकर संक्रांति और मागे पर्व को शांतिपूर्ण और व्यवस्थित तरीके से मनाने के लिए सख्त कदम उठाए हैं। उपायुक्त कुलदीप चौधरी और पुलिस अधीक्षक आशुतोष शेखर की अध्यक्षता में जिला समाहरणालय सभागार में आयोजित इस महत्वपूर्ण बैठक में जिले की सुरक्षा और शांति व्यवस्था पर विस्तृत चर्चा की गई।
त्योहारों पर क्यों बढ़ी प्रशासन की सतर्कता?
पिछले कुछ वर्षों में त्योहारों के दौरान पर्यटक स्थलों और सार्वजनिक स्थानों पर बढ़ती भीड़ और असामाजिक गतिविधियों को देखते हुए प्रशासन ने सुरक्षा व्यवस्था को लेकर विशेष दिशा-निर्देश जारी किए। प्रशासन का उद्देश्य न केवल जिले में शांति बनाए रखना है, बल्कि पर्यटकों और स्थानीय निवासियों को किसी भी अप्रिय घटना से बचाना भी है।
विशेष सुरक्षा निर्देश
बैठक में जिले के अनुमंडल पदाधिकारी, प्रखंड विकास पदाधिकारी, अंचलाधिकारी और थाना प्रभारी उपस्थित रहे। उन्हें निम्नलिखित निर्देश दिए गए:
- पर्यटक स्थलों पर विशेष नजर: प्रमुख पर्यटक स्थलों को चिन्हित कर वहां सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम किए जाएं।
- स्थानीय जनप्रतिनिधियों से समन्वय: मानकी-मुंडा, मुखिया और अन्य जनप्रतिनिधियों के साथ संवाद स्थापित कर सुरक्षा व्यवस्था को मजबूत किया जाए।
- भीड़भाड़ वाले क्षेत्रों की सूची: पर्वों के दौरान भीड़ इकट्ठा होने वाले स्थानों की पहचान कर वहां सुरक्षा बल तैनात किए जाएं।
- अवैध गतिविधियों पर लगाम: सभी अधिकारियों को अपने क्षेत्रों में संचालित अवैध गतिविधियों पर कड़ी नजर रखने के निर्देश दिए गए।
चेक पोस्ट और अफवाहों पर नियंत्रण
बैठक में सभी चेक पोस्टों पर सघन जांच अभियान चलाने और अवैध परिवहन पर रोक लगाने का आदेश दिया गया। उपायुक्त ने अधिकारियों को ग्रामीण क्षेत्रों में फैलने वाली अफवाहों को रोकने के लिए ग्रामीणों के साथ संवाद स्थापित करने का सुझाव दिया। उन्होंने कहा, “अफवाहों के कारण जनता में वहम फैलता है, जिसे समय रहते नियंत्रित करना बेहद जरूरी है।”
प्रशासनिक संवाद की भूमिका
बैठक में प्रशासनिक संवाद की अहमियत पर जोर दिया गया। उपायुक्त ने अधिकारियों से कहा कि संवादहीनता के कारण क्षेत्र में अशांति फैल सकती है। ऐसे में अधिकारियों को तुरंत कार्रवाई कर लोगों की समस्याओं का समाधान करना चाहिए।
शांति समिति का पुनर्गठन
उपायुक्त ने जिला शांति समिति के पुनर्गठन का आदेश दिया, ताकि इसमें सामाजिक और संवाद कुशल व्यक्तियों को शामिल किया जा सके। इससे प्रशासन को जमीनी स्तर पर लोगों से जुड़ने में मदद मिलेगी।
इतिहास से सबक लेकर नई पहल
पश्चिमी सिंहभूम जिला, जो पहले नक्सल प्रभावित क्षेत्र के रूप में जाना जाता था, अब शांति और विकास की राह पर अग्रसर है। प्रशासन की यह पहल त्योहारों के दौरान शांति और सद्भाव सुनिश्चित करने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है।
पर्यटकों और स्थानीय निवासियों के लिए संदेश
प्रशासन ने जिले में आने वाले पर्यटकों और स्थानीय निवासियों से सहयोग की अपील की है। वे चाहते हैं कि सभी लोग त्योहारों का आनंद लें लेकिन प्रशासन के दिशा-निर्देशों का पालन भी करें।