Jharkhand Winter: बर्फबारी जैसी ठंड, गुमला-काके में पारा 3 डिग्री के पास, 12 जिलों में खतरनाक शीतलहर का अलर्ट
झारखंड में कड़ाके की ठंड ने सारे रिकॉर्ड तोड़ दिए हैं और गुमला में पारा गिरकर 3.9 डिग्री तक पहुँच गया है। राजधानी रांची समेत 12 जिलों में जारी शीतलहर के येलो अलर्ट और अगले 4 दिनों तक जमने वाली इस सर्दी की पूरी सटीक जानकारी यहाँ दी गई है वरना आप भी बिना तैयारी इस जानलेवा मौसम की चपेट में आ सकते हैं।
रांची, 26 दिसंबर 2025 – झारखंड में कुदरत ने अपने तेवर पूरी तरह बदल लिए हैं। पहाड़ों और पठारों से घिरे इस राज्य में अब 'हाड़ कपाने' वाली ठंड का आगाज हो चुका है। आसमान साफ होते ही उत्तर-पश्चिमी शुष्क हवाओं ने मैदानी इलाकों में ऐसी घुसपैठ की है कि जनजीवन पूरी तरह ठिठुर गया है। मौसम विभाग (IMD) ने स्थिति की गंभीरता को देखते हुए राजधानी रांची समेत राज्य के 12 महत्वपूर्ण जिलों में शीतलहर (Cold Wave) का येलो अलर्ट जारी कर दिया है। ग्रामीण इलाकों में तो स्थिति ऐसी है कि सुबह के समय घास के मैदानों पर ओस की बूंदें बर्फ की चादर जैसी नजर आने लगी हैं।
इतिहास: झारखंड की सर्दी और 'छोटा नागपुर' का बर्फीला मिजाज
ऐतिहासिक रूप से झारखंड (छोटा नागपुर का पठार) अपनी मध्यम जलवायु के लिए जाना जाता था, लेकिन पिछले दो दशकों में जलवायु परिवर्तन ने यहाँ के सर्दियों के पैटर्न को बदल दिया है। 1990 के दशक तक रांची को 'हिल स्टेशन' का दर्जा प्राप्त था, जहाँ सर्दियों में तापमान अक्सर 5 डिग्री के नीचे चला जाता था। काके (Kanke) का इलाका तो ऐतिहासिक रूप से इतना ठंडा रहा है कि इसे 'झारखंड का शिमला' कहा जाता है। पुराने लोग बताते हैं कि 20वीं सदी के अंत में कई बार खेतों में बर्फ जम जाया करती थी। आज का गिरता पारा उसी ऐतिहासिक ठंड की याद दिला रहा है, जिसने एक बार फिर लोगों को अलाव (लावारी) के सहारे रात गुजारने पर मजबूर कर दिया है।
तापमान का तांडव: गुमला और काके बने 'फ्रीजर'
बीते 24 घंटों के आंकड़ों ने मौसम वैज्ञानिकों को भी चौंका दिया है। झारखंड के कुछ हिस्से अब उत्तर भारत के मैदानी इलाकों से भी ज्यादा ठंडे दर्ज किए जा रहे हैं।
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गुमला सबसे ठंडा: राज्य में सबसे कम न्यूनतम तापमान गुमला में दर्ज किया गया, जहाँ पारा 3.9 डिग्री सेल्सियस तक लुढ़क गया।
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काके का कहर: रांची के काके क्षेत्र में तापमान 4 डिग्री सेल्सियस रिकॉर्ड हुआ है। यहाँ की भौगोलिक स्थिति ऐसी है कि ठंडी हवाएं सीधे पहाड़ियों से उतरकर मैदानों को फ्रीज कर देती हैं।
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शुष्क हवाओं का असर: साफ आसमान और नमी की कमी के कारण 'रेडिएशन कूलिंग' तेज हो गई है, जिससे रातें और अधिक सर्द हो रही हैं।
इन 12 जिलों में 'येलो अलर्ट': घर से निकलने से पहले सावधान
मौसम केंद्र रांची ने चेतावनी दी है कि अगले 24 घंटों में ठिठुरन और बढ़ेगी।
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प्रभावित जिले: रांची, पलामू, गढ़वा, कोडरमा, लातेहार, लोहरदगा, रामगढ़, हजारीबाग और बोकारो सहित कुल 12 जिलों में शीतलहर का प्रकोप रहेगा।
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कोहरे का जाल: हालांकि कोहरे की तीव्रता में थोड़ी कमी आई है, लेकिन सुबह के समय 'स्मॉग' और 'मिस्ट' के कारण दृश्यता (Visibility) प्रभावित हो सकती है।
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पहाड़ी इलाकों में अलर्ट: लातेहार और नेतरहाट जैसे ऊँचाई वाले क्षेत्रों में पारा सामान्य से 5 डिग्री तक नीचे रह सकता है।
झारखंड तापमान अपडेट (Minimum Temperature Snapshot)
| जिला / क्षेत्र | न्यूनतम तापमान (°C) | स्थिति |
| गुमला | 3.9°C | अत्यंत सर्द |
| रांची (काके) | 4.0°C | शीतलहर |
| लातेहार | 7.9°C | ठिठुरन |
| डालटेनगंज | 8.01°C | शुष्क ठंड |
| सरायकेला | 8.8°C | सामान्य से नीचे |
पूर्वानुमान: 31 दिसंबर तक राहत के आसार नहीं
अगर आप नए साल के जश्न की तैयारी कर रहे हैं, तो गर्म कपड़े साथ रखना न भूलें। मौसम विभाग के अनुसार:
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28 से 31 दिसंबर तक: मौसम पूरी तरह शुष्क और आसमान साफ रहेगा। इसका मतलब है कि धूप तो खिलेगी, लेकिन शाम होते ही कनकनी (ठिठुरन) वापस लौट आएगी।
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रात का पारा: आने वाले 4 दिनों तक रात का तापमान 6 से 10 डिग्री के बीच ही बना रहेगा।
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सावधानी: खुले मैदानों और ग्रामीण क्षेत्रों में ठंड का असर शहरी क्षेत्रों की तुलना में 2-3 डिग्री ज्यादा महसूस होगा।
कड़ाके की सर्दी में अपनी सुरक्षा स्वयं करें
झारखंड की यह सर्दी केवल मौसम का बदलाव नहीं, बल्कि एक चुनौती है। शीतलहर के दौरान बुजुर्गों और बच्चों का विशेष ध्यान रखने की जरूरत है। प्रशासन ने रैन बसेरों को सक्रिय कर दिया है, लेकिन खुले आसमान के नीचे रहने वालों के लिए यह रातें परीक्षा की घड़ी हैं। अलाव जलाएं, गर्म तरल पदार्थों का सेवन करें और शीतलहर के इस येलो अलर्ट को गंभीरता से लें।
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