Gaming Viral: पायल गेमिंग का कथित निजी वीडियो वायरल, प्रशंसकों ने बताया बदनाम करने की साजिश, सजा के कड़े प्रावधान

यूट्यूबर पायल गेमिंग का एक कथित निजी वीडियो इंटरनेट पर प्रसारित होने से सनसनी फैल गई है। प्रशंसकों का दावा है कि यह वीडियो कृत्रिम मेधा द्वारा बनाया गया है। ऐसे अपमानजनक चलचित्र साझा करने पर सात वर्ष तक की जेल और भारी आर्थिक दंड का प्रावधान है।

Dec 17, 2025 - 13:16
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Gaming Viral: पायल गेमिंग का कथित निजी वीडियो वायरल, प्रशंसकों ने बताया बदनाम करने की साजिश, सजा के कड़े प्रावधान
Gaming Viral: पायल गेमिंग का कथित निजी वीडियो वायरल, प्रशंसकों ने बताया बदनाम करने की साजिश, सजा के कड़े प्रावधान

नई दिल्ली, 17 दिसंबर 2025 – डिजिटल दुनिया की जानी-मानी हस्ती पायल गेमिंग इन दिनों एक विवादास्पद कारण से चर्चा में हैं। सोशल मीडिया पर उनका एक कथित निजी वीडियो प्रसारित किया जा रहा है, जिसने इंटरनेट पर एक नई बहस को जन्म दे दिया है। पायल गेमिंग, जिनका वास्तविक नाम पायल धारे है, भारत की सबसे प्रभावशाली महिला खिलाड़ी और वीडियो निर्माता मानी जाती हैं। इस वीडियो के सामने आने के बाद उनके लाखों प्रशंसक इसे उनकी छवि को धूमिल करने की एक गहरी साजिश बता रहे हैं।

कौन हैं पायल धारे और उनकी सफलता की कहानी

मध्य प्रदेश के छिंदवाड़ा की रहने वाली पायल धारे ने वर्ष 2019 में वीडियो गेमिंग की दुनिया में कदम रखा था। मात्र 21 वर्ष की आयु में उन्होंने वह मुकाम हासिल किया है, जो बड़े-बड़े दिग्गजों के लिए सपना होता है। आज उनके मुख्य मंच पर 45 लाख से अधिक जुड़ाव हैं और चित्र-साझा मंच (इंस्टाग्राम) पर भी 40 लाख से ज्यादा लोग उन्हें पसंद करते हैं। * प्रधानमंत्री से मुलाकात: पायल की लोकप्रियता का अंदाजा इसी बात से लगाया जा सकता है कि उन्होंने देश के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से मुलाकात की थी। उन्होंने भारत में वीडियो खेलों के भविष्य और इस क्षेत्र में महिलाओं की भागीदारी पर विस्तृत चर्चा की थी।

वायरल वीडियो का सच और कृत्रिम मेधा का खतरा

वर्तमान में जो वीडियो प्रसारित हो रहा है, उसके बारे में अटकलों का बाजार गर्म है। पायल के समर्थकों का स्पष्ट कहना है कि यह वीडियो 'डीपफेक' तकनीक का परिणाम है। आधुनिक युग में कृत्रिम मेधा (एआई) के माध्यम से किसी भी व्यक्ति का चेहरा किसी अन्य अश्लील वीडियो पर लगाना अत्यंत सरल हो गया है। चूंकि पायल वर्तमान में दुबई की यात्रा पर हैं और अपनी तस्वीरें साझा कर रही हैं, इसलिए इस वीडियो के प्रमाणिक होने पर गंभीर संदेह है।

कानूनी परिणाम और सजा के नियम

भारतीय सूचना प्रौद्योगिकी अधिनियम 2000 के तहत इस तरह की सामग्री को साझा करना एक गंभीर अपराध है। सरकार ने डिजिटल मंचों पर महिलाओं की गरिमा की रक्षा के लिए कड़े कानून बनाए हैं।

धारा अपराध का विवरण दंड और जुर्माना
67 अश्लील सामग्री का प्रसारण 3 से 5 वर्ष की जेल, 5 से 10 लाख जुर्माना
67A यौन संबंधित स्पष्ट सामग्री 5 से 7 वर्ष की जेल, 10 लाख तक जुर्माना
67B बच्चों से संबंधित आपत्तिजनक सामग्री अत्यंत कठोर कारावास और भारी आर्थिक दंड

प्रशासकों और पायल के प्रशंसकों ने अपील की है कि ऐसे किसी भी वीडियो को साझा न करें। वीडियो साझा करना न केवल अनैतिक है, बल्कि यह आपको जेल की सलाखों के पीछे भी पहुंचा सकता है। महिलाओं को अपमानित करने वाली इस तरह की कारस्तानियां समाज के लिए कलंक हैं।

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Manish Tamsoy मनीष तामसोय कॉमर्स में मास्टर डिग्री कर रहे हैं और खेलों के प्रति गहरी रुचि रखते हैं। क्रिकेट, फुटबॉल और शतरंज जैसे खेलों में उनकी गहरी समझ और विश्लेषणात्मक क्षमता उन्हें एक कुशल खेल विश्लेषक बनाती है। इसके अलावा, मनीष वीडियो एडिटिंग में भी एक्सपर्ट हैं। उनका क्रिएटिव अप्रोच और टेक्निकल नॉलेज उन्हें खेल विश्लेषण से जुड़े वीडियो कंटेंट को आकर्षक और प्रभावी बनाने में मदद करता है। खेलों की दुनिया में हो रहे नए बदलावों और रोमांचक मुकाबलों पर उनकी गहरी पकड़ उन्हें एक बेहतरीन कंटेंट क्रिएटर और पत्रकार के रूप में स्थापित करती है।