Naxal Surrender: लातेहार में 9 उग्रवादियों ने AK-47 समेत हथियारों के साथ किया समर्पण
क्या नक्सलियों के सामूहिक आत्मसमर्पण के बाद लातेहार शांत और सुरक्षित बनेगा? जानिए किन-किन इनामी और बड़े नक्सलियों ने पुलिस के समक्ष आत्मसमर्पण कर हथियार और गोला-बारूद सौंप दिए।

झारखंड के लातेहार जिले में पुलिस को एक बड़ी कामयाबी मिली है। यहां कुख्यात उग्रवादी संगठन झारखंड जनमुक्ति परिषद (JJMP) के 9 नक्सलियों ने पुलिस और सुरक्षा बलों के सामने आत्मसमर्पण कर दिया। यह घटना जिले के समाहरणालय सभागार में सोमवार को हुई। सरेंडर समारोह में मौके पर आला पुलिस और सीआरपीएफ अधिकारी मौजूद रहे.
इन नौ में पांच लाख-पांच लाख इनामी चार नक्सली भी शामिल हैं – रविंद्र यादव (जोनल कमांडर), अखिलेश यादव (सब-जोनल कमांडर), बलदेव गंझू उर्फ अमरेश गंजू (सब-जोनल कमांडर) और मुकेश राम (सब-जोनल कमांडर). इसके अलावा तीन लाख इनाम वाले पवन उर्फ राम प्रसाद महतो (सब-जोनल कमांडर) भी हैं। बाकी के नक्सलियों में ध्रुव जी उर्फ राजू राम, विजय यादव, सरवन सिंह उर्फ पारस जी और मुकेश गंझू शामिल हैं, जिन पर कोई इनाम घोषित नहीं था लेकिन ये एरिया कमांडर के रूप में सक्रिय थे।
पुलिस के मुताबिक, समर्पण करने वाले नक्सलियों के पास से कुल 12 हथियार बरामद किए गए हैं जिसमें 4 AK-47, 1 AK-56, 3 SLR और 4 अन्य हथियार हैं. साथ ही, 1800 से अधिक जिंदा कारतूस भी बरामद किए गए। इस मौके पर झारखंड पुलिस के अभियान IG माइकल राज एस, CRPF IG साकेत कुमार सिंह, पलामू IG सुनील भास्कर, DGP नौशाद आलम, लातेहार के SP कुमार गौरव समेत अनेक अधिकारी मौजूद रहे.
सीआरपीएफ IG साकेत कुमार सिंह ने कहा – “यह पुलिस और सुरक्षा बलों द्वारा नक्सल उन्मूलन के लिए सबसे बड़ी उपलब्धि है। क्षेत्र के सभी नक्सलियों से कहा गया है कि या तो नीति का लाभ उठाएं या फिर कार्रवाई के लिए तैयार रहें।”
पुलिस अधिकारियों ने जेजेएमपी के समर्पण के साथ लातेहार जिले से इस संगठन के पूर्ण सफाये का दावा किया और कहा कि इस ऐतिहासिक घटना से क्षेत्र में शांति स्थापना को बल मिलेगा.
सरेंडर करने वाले कुख्यात नक्सलियों पर हत्या, फिरौती, पुलिस पर हमले जैसे कई गंभीर वारदातों के केस दर्ज थे. झारखंड पुलिस की हालिया आक्रामक अभियान और राज्य सरकार की पुनर्वास व आत्मसमर्पण नीति से ही यह बड़ी सफलता संभव हो सकी।
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