Jamshedpur Police : खोया हुआ 15 लाख का सामान बरामद, पुलिस की मेहनत लाई रंग

जमशेदपुर पुलिस ने एक सराहनीय कार्य में बिरसानगर निवासी गुरुचरण गोराई का खोया हुआ 15 लाख का कीमती सामान बरामद किया। बर्मा माइंस थाना पुलिस ने तीन दिनों की जांच के बाद यह सफलता हासिल की। जानें इस पूरे मामले और पुलिस की बहादुरी की कहानी।

Sep 29, 2025 - 17:12
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Jamshedpur Police : खोया हुआ 15 लाख का सामान बरामद, पुलिस की मेहनत लाई रंग
Jamshedpur Police : खोया हुआ 15 लाख का सामान बरामद, पुलिस की मेहनत लाई रंग

एक पल में लाखों का नुकसान और फिर तीन दिनों बाद पूरी तरह सुरक्षित वापसी। यह किसी फिल्मी कहानी का हिस्सा नहीं, बल्कि जमशेदपुर पुलिस के एक सराहनीय कार्य का नतीजा है, जिसने न केवल एक व्यक्ति की खोई हुई पूंजी वापस दिलाई, बल्कि आम जनता का भरोसा भी मजबूत किया है। यह कहानी गुरुचरण गोराई की है, जिनका करीब 15 लाख रुपये का कीमती सामान एक ऑटो से गिर गया था।

जमशेदपुर, जो अपनी औद्योगिक पहचान और सड़क पर चलती गाड़ियों के लिए जाना जाता है, वहां इस तरह की घटनाएं अक्सर होती रहती हैं। लेकिन इस बार कहानी का अंत कुछ अलग है। बर्मा माइंस थाना पुलिस ने अपनी सूझबूझ और कड़ी मेहनत से इस असंभव को संभव कर दिखाया।

खोया हुआ बैग: एक रात का सदमा

गुरुचरण गोराई के लिए 26 सितंबर की शाम एक बुरे सपने की तरह थी। वह टाटानगर स्टेशन से एक ऑटो से अपने घर बिरसानगर लौट रहे थे। रास्ते में, ट्यूब कंपनी गेट के पास अचानक उनका बैग ऑटो से गिर गया। शुरुआत में उन्हें इसका एहसास नहीं हुआ, लेकिन जब तक उन्हें पता चला, तब तक बहुत देर हो चुकी थी। बैग में सिर्फ कपड़े नहीं थे, बल्कि उनकी जिंदगी भर की कमाई और कई महत्वपूर्ण चीजें थीं, जिनमें सोने-हीरे के कीमती जेवर, एक लैपटॉप, कैमरा और कई महत्वपूर्ण दस्तावेज शामिल थे।

इस घटना के बाद गुरुचरण गोराई ने तुरंत बिना कोई समय गंवाए बर्मा माइंस थाने में आवेदन दिया। उन्होंने पुलिस को हर छोटी-बड़ी जानकारी दी, जिससे पुलिस को जांच में मदद मिल सके।

पुलिस की मेहनत और लगन

थाना प्रभारी दिलीप कुमार यादव ने इस मामले को गंभीरता से लिया। उन्होंने तुरंत एक विशेष पुलिस टीम का गठन किया, जिसमें उपनिरीक्षक कृष्ण महतो और विनय कुमार पांडेय को शामिल किया गया। टीम ने लगातार तीन दिनों तक खोजबीन की। वे सिर्फ सड़कों पर ही नहीं, बल्कि सीसीटीवी फुटेज, स्थानीय लोगों से पूछताछ और हर संभावित पहलू पर काम कर रहे थे।

पुलिस ने एक-एक कर उन रास्तों को खंगाला जहां ऑटो गुजरा था। उन्होंने हर छोटे सुराग को जोड़ा और आखिरकार उनकी मेहनत रंग लाई। पुलिस ने न केवल बैग को ढूंढा, बल्कि उसमें रखा सारा सामान भी पूरी तरह सुरक्षित बरामद कर लिया।

क्या-क्या मिला?

पुलिस द्वारा बरामद किए गए सामान की सूची देखकर कोई भी हैरान हो सकता है:

  • एचपी कंपनी का लैपटॉप – 01

  • निकोन कंपनी का कैमरा – 01

  • सोने का हार – 01

  • हीरे की अंगूठी – 02

  • सोने की अंगूठी – 05

  • सोने का कान का झुमका – 04 पीस

  • सोने का कान का बटन – 01 पीस

  • हीरे का कान का रिंग – 02

  • सोने का लॉकेट – 01

  • इसके अलावा, घरेलू कागजात और बैंक पासबुक भी सुरक्षित मिले।

इन सभी सामानों की कुल कीमत लगभग 15 लाख रुपये बताई जा रही है।

दुर्गा पूजा से पहले बड़ी सफलता

यह घटना और भी महत्वपूर्ण इसलिए है, क्योंकि यह दुर्गा पूजा जैसे व्यस्त समय में हुई है, जब पुलिस की जिम्मेदारी पहले से ही बढ़ जाती है। फिर भी, बर्मा माइंस थाना टीम ने अपनी प्राथमिकता दिखाते हुए यह साबित कर दिया कि वे किसी भी चुनौती का सामना कर सकते हैं।

इस कामयाबी ने गुरुचरण गोराई को तो राहत दी ही है, साथ ही आम जनता का विश्वास भी पुलिस पर और मजबूत किया है। यह साबित करता है कि जमशेदपुर पुलिस न केवल कानून व्यवस्था बनाए रखने में सक्षम है, बल्कि लोगों की संपत्ति की रक्षा करने में भी पूरी तरह सक्षम है। यह घटना एक मिसाल है कि अगर पुलिस और जनता मिलकर काम करें, तो हर मुश्किल का हल निकाला जा सकता है।

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Manish Tamsoy मनीष तामसोय कॉमर्स में मास्टर डिग्री कर रहे हैं और खेलों के प्रति गहरी रुचि रखते हैं। क्रिकेट, फुटबॉल और शतरंज जैसे खेलों में उनकी गहरी समझ और विश्लेषणात्मक क्षमता उन्हें एक कुशल खेल विश्लेषक बनाती है। इसके अलावा, मनीष वीडियो एडिटिंग में भी एक्सपर्ट हैं। उनका क्रिएटिव अप्रोच और टेक्निकल नॉलेज उन्हें खेल विश्लेषण से जुड़े वीडियो कंटेंट को आकर्षक और प्रभावी बनाने में मदद करता है। खेलों की दुनिया में हो रहे नए बदलावों और रोमांचक मुकाबलों पर उनकी गहरी पकड़ उन्हें एक बेहतरीन कंटेंट क्रिएटर और पत्रकार के रूप में स्थापित करती है।