Jamshedpur Dispute: बागबेड़ा में जमीन विवाद के चलते महिला पर जानलेवा हमला, पुलिस की भूमिका पर सवाल
जमशेदपुर के बागबेड़ा में जमीन घेराबंदी को लेकर विवाद चरम पर, महिला पर लाठी-डंडे से हमला। जानिए विवाद की पूरी कहानी और पुलिस की कार्यवाही।
जमशेदपुर के बागबेड़ा थाना क्षेत्र के हरहरगुट्टू इलाके में जमीन घेराबंदी को लेकर तीन दिनों से चल रहे विवाद ने मंगलवार को हिंसक रूप ले लिया। विरोध-प्रदर्शन के बीच उमा देवी नामक महिला पर लाठी-डंडे से हमला किया गया, जिससे उनका सिर फट गया।
हमले के पीछे इलाके के कई संदिग्ध लोगों के शामिल होने की बात सामने आई है, जिन्होंने पत्थरबाजी कर माहौल को और उग्र बना दिया।
कैसे शुरू हुआ विवाद?
हरहरगुट्टू में स्थित सार्वजनिक मैदान की घेराबंदी को लेकर विवाद की शुरुआत हुई।
- रविवार को जमीन पर कब्जा करने का आरोप लगाते हुए दोनों पक्षों में बहस हुई।
- आरोप है कि जितेंद्र यादव और उनके सहयोगियों ने पिस्तौल निकालकर गोली मारने की धमकी दी।
- विवाद के दौरान पुलिस ने घेराबंदी को गिरा दिया, लेकिन मामला यहीं खत्म नहीं हुआ।
मंगलवार की घटना: महिला पर हमला
मंगलवार को यह विवाद और हिंसक हो गया।
- आरोप है कि नवरत्न सिंह, लखन सिंह, रामा देवी, मुन्नी देवी, ऋचा सिंह, शिवशंकर समेत अन्य लोगों ने उमा देवी पर जानलेवा हमला किया।
- लाठी-डंडे से हुए हमले में उमा देवी गंभीर रूप से घायल हो गईं।
- घटना के बाद उमा देवी के बेटे रवि कुमार ने बताया कि पहले भी उनके घर पर पत्थर और पटाखे फेंके गए थे।
इलाके में बढ़ रहा तनाव
यह विवाद केवल जमीन तक सीमित नहीं है।
- स्थानीय निवासियों के अनुसार, गली में कचरा फेंकने और अन्य प्रकार की गंदगी फैलाने जैसी हरकतें पहले से हो रही थीं।
- इस क्षेत्र में बढ़ते विवादों और हिंसक घटनाओं ने लोगों को डर के साये में जीने पर मजबूर कर दिया है।
पुलिस की भूमिका पर उठे सवाल
इस पूरी घटना में पुलिस की निष्क्रियता पर सवाल खड़े हो रहे हैं।
- पीड़ित परिवार का आरोप है कि पुलिस ने अभी तक कोई सख्त कानूनी कार्रवाई नहीं की है।
- पुलिस केवल घेराबंदी को गिराने तक सीमित रही, जबकि हिंसा में शामिल लोगों पर कड़ी कार्रवाई नहीं हुई।
इतिहास: जमशेदपुर में जमीन विवाद के बढ़ते मामले
जमशेदपुर और उसके आस-पास के क्षेत्रों में जमीन विवाद कोई नई बात नहीं है।
- 2020 में बागबेड़ा में ही जमीन को लेकर हुए विवाद में गोलीबारी की घटना सामने आई थी।
- 2022 में मानगो क्षेत्र में सार्वजनिक जमीन पर कब्जे को लेकर कई दिनों तक तनाव बना रहा।
इन घटनाओं से यह साफ होता है कि जमीन विवाद इस क्षेत्र में एक गंभीर समस्या बन गया है, जो अक्सर हिंसक रूप ले लेता है।
क्या होगा समाधान?
हरहरगुट्टू में चल रहे इस विवाद के समाधान के लिए प्रशासन को सख्त कदम उठाने होंगे।
- सार्वजनिक जमीन की घेराबंदी पर तत्काल रोक लगानी होगी।
- स्थानीय निवासियों और विवाद में शामिल पक्षों के बीच मध्यस्थता करनी होगी।
- कानून व्यवस्था को सुदृढ़ करने और दोषियों पर कार्रवाई सुनिश्चित करने की जरूरत है।
परिवार की न्याय की मांग
पीड़ित परिवार ने प्रशासन और पुलिस से न्याय की गुहार लगाई है।
- उमा देवी के बेटे रवि कुमार ने कहा, "हमारी मां पर जानलेवा हमला हुआ। हम दोषियों को सजा दिलाना चाहते हैं।"
- परिवार ने आरोपियों की जल्द गिरफ्तारी और सख्त सजा की मांग की है।
हरहरगुट्टू की यह घटना न केवल एक व्यक्ति या परिवार की समस्या है, बल्कि यह क्षेत्र में कानून व्यवस्था की लचर स्थिति और जमीन विवादों की गंभीरता को दर्शाती है।
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