Purulia Educational Tour: संत नंदलाल स्मृति विद्या मंदिर के छात्रों ने विज्ञान केंद्र में खोजी नई दुनिया, विज्ञान के रहस्यों से उठाया पर्दा!
संत नंदलाल स्मृति विद्या मंदिर के 11वीं के छात्रों ने पुरुलिया साइंस सेंटर का दौरा किया। जानें कैसे यह शैक्षिक भ्रमण उनके लिए रोमांचक और ज्ञानवर्धक साबित हुआ!

घाटशिला: शिक्षा सिर्फ किताबों तक सीमित नहीं होती, बल्कि असली ज्ञान प्रयोगशालाओं और वास्तविक अनुभवों से आता है। इसी उद्देश्य को ध्यान में रखते हुए संत नंदलाल स्मृति विद्या मंदिर के कक्षा 11वीं के विद्यार्थियों के लिए 11 मार्च 2025 को एक विशेष शैक्षिक भ्रमण का आयोजन किया गया। इस दौरान छात्रों को पुरुलिया स्थित विज्ञान केंद्र (डिस्ट्रिक्ट साइंस सेंटर) में विज्ञान से जुड़े आधुनिक और ऐतिहासिक शोधों की झलक देखने का मौका मिला।
इस रोमांचक यात्रा में 81 छात्र-छात्राओं ने भाग लिया, जिनमें 35 लड़के और 46 लड़कियां शामिल थीं। उनके साथ 8 शिक्षकों की टीम भी मौजूद रही, जिनमें इंद्र कुमार रॉय, राजश्री राय, मधुसूदन घोष, मौसमी बनर्जी, सुबाहु शेखर जाना, अमित कुमार महापात्र, विश्वजीत सीट और पी. लीला शामिल थे।
विज्ञान की दुनिया में एक दिन – छात्रों के लिए अनोखा अनुभव!
पुरुलिया डिस्ट्रिक्ट साइंस सेंटर में छात्रों को विज्ञान की रोमांचक दुनिया से रूबरू कराया गया। इस दौरान उन्होंने कई महत्वपूर्ण प्रदर्शनियों का अवलोकन किया, जिनमें शामिल थे:
कोशिका विभाजन – जीवन की मूलभूत इकाई को समझने का अवसर।
मानव मस्तिष्क का विकास – ब्रेन इवोल्यूशन से जुड़ी अहम जानकारियां।
प्रारंभिक मानव मॉडल – मानव सभ्यता के विकास को दर्शाने वाली प्रदर्शनी।
आधुनिक जीवविज्ञान – विज्ञान की नवीनतम तकनीकों और खोजों की झलक।
इन प्रयोगों और मॉडलों को देखकर छात्रों की जिज्ञासा बढ़ी और उन्होंने विज्ञान की अवधारणाओं को व्यावहारिक रूप से समझने की कोशिश की।
पुरुलिया की सांस्कृतिक और ऐतिहासिक झलक भी मिली!
इस शैक्षिक भ्रमण के दौरान छात्रों को न केवल विज्ञान बल्कि पुरुलिया जिले की संस्कृति, भौगोलिक विशेषताओं और स्थानीय परंपराओं के बारे में भी जानकारी दी गई।
पुरुलिया की जनसंख्या और भौगोलिक स्थिति पर विशेष चर्चा की गई।
यहां के पारंपरिक त्योहार जैसे छाऊ नृत्य, करमा पर्व और सरहुल के बारे में बताया गया।
कुटीर उद्योग और हस्तशिल्प से संबंधित जानकारियां दी गईं, जिससे छात्रों को इस क्षेत्र की आर्थिक गतिविधियों को समझने का मौका मिला।
पंचेत डैम और वहां के विद्युत उत्पादन केंद्र को लेकर भी दिलचस्प तथ्य साझा किए गए।
छात्रों की वैज्ञानिक सोच को मिला बढ़ावा!
यह भ्रमण छात्रों के लिए सिर्फ एक यात्रा नहीं थी, बल्कि एक ज्ञानवर्धक और रोमांचक सफर था। उन्होंने न केवल वैज्ञानिक अवधारणाओं को बेहतर तरीके से समझा, बल्कि उनके अवलोकन और विश्लेषण करने की क्षमता भी बढ़ी।
मनोरंजन और सीखने का परफेक्ट कॉम्बिनेशन!
छात्रों ने इस यात्रा को न केवल शैक्षिक बल्कि मनोरंजन की दृष्टि से भी बेहद खास पाया। पूरे दिन वे विज्ञान के प्रयोगों और पुरुलिया की संस्कृति के अनोखे रंगों में डूबे रहे।
इस शैक्षिक भ्रमण के मुख्य उद्देश्य:
शिक्षा को सिर्फ किताबों तक सीमित रखने के बजाय उसे व्यावहारिक रूप देना।
छात्रों की जिज्ञासा और वैज्ञानिक सोच को बढ़ावा देना।
प्राकृतिक और सामाजिक विज्ञान के बीच तालमेल को समझाना।
एक नई जगह का अनुभव कराना और वहां की संस्कृति से परिचित कराना।
संत नंदलाल स्मृति विद्या मंदिर के इस शैक्षिक भ्रमण ने छात्रों को विज्ञान और समाज की गहरी समझ दी। यह यात्रा उनके लिए शैक्षिक और मनोरंजक दोनों रूपों में बेहद सफल रही। उन्होंने विज्ञान की नई अवधारणाओं को करीब से देखा और पुरुलिया की सांस्कृतिक झलक भी पाई।
क्या आपको लगता है कि इस तरह के शैक्षिक भ्रमण छात्रों के लिए फायदेमंद हैं? नीचे कमेंट में बताएं!
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