Jamshedpur Protest: सेना के जवान के साथ पुलिस का दुर्व्यवहार, पूर्व सैनिकों का हंगामा, डीसी और एसएसपी को सौंपा गया ज्ञापन

जमशेदपुर में सेना के जवान हवलदार सूरज राय के साथ पुलिस द्वारा दुर्व्यवहार किए जाने पर पूर्व सैनिकों में आक्रोश। जानें पूरी खबर और प्रशासन की प्रतिक्रिया।

Mar 17, 2025 - 20:05
Mar 17, 2025 - 20:06
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Jamshedpur Protest: सेना के जवान के साथ पुलिस का दुर्व्यवहार, पूर्व सैनिकों का हंगामा, डीसी और एसएसपी को सौंपा गया ज्ञापन
Jamshedpur Protest: सेना के जवान के साथ पुलिस का दुर्व्यवहार, पूर्व सैनिकों का हंगामा, डीसी और एसएसपी को सौंपा गया ज्ञापन

जमशेदपुर: देश के वीर जवान, जिन्होंने सरहद पर अपने जीवन को दांव पर लगाकर देश की रक्षा की, अगर उन्हीं के साथ अपने ही देश में दुर्व्यवहार हो, तो इससे बड़ा सवाल और क्या हो सकता है? जमशेदपुर में कुछ ऐसा ही हुआ, जब अखिल भारतीय पूर्व सैनिक सेवा परिषद ने सेना के जवान हवलदार सूरज राय के साथ हुए दुर्व्यवहार के खिलाफ जमकर विरोध किया।

क्या है पूरा मामला?

हवलदार सूरज राय, जो कि अपनी छुट्टी पर घर आए थे, उनके साथ जुगसलाई थाना के पुलिसकर्मियों ने कथित रूप से दुर्व्यवहार किया और उन्हें हिरासत में ले लिया। यह खबर जैसे ही पूर्व सैनिकों तक पहुंची, पूरे शहर में आक्रोश की लहर दौड़ गई। पूर्व सैनिक संगठन ने इसे सेना की गरिमा पर हमला बताते हुए, डीसी और वरीय पुलिस अधीक्षक को ज्ञापन सौंपा और तत्काल प्रभाव से जवान की रिहाई की मांग की।

पूर्व सैनिकों का प्रदर्शन, जिला प्रशासन का आश्वासन

इस प्रदर्शन में अखिल भारतीय पूर्व सैनिक सेवा परिषद के झारखंड प्रांतीय महामंत्री सिद्धनाथ सिंह, उपाध्यक्ष राजेश पांडे, जिला अध्यक्ष विनय यादव समेत कई पदाधिकारी और सैकड़ों पूर्व सैनिक मौजूद रहे। सांसद प्रतिनिधि संजीव जी भी इस विरोध प्रदर्शन में शामिल हुए और प्रशासन से कार्रवाई की मांग की।

इस घटना की गंभीरता को देखते हुए, सेना और पुलिस प्रशासन के वरिष्ठ अधिकारी भी जमशेदपुर पहुंचे। जिला प्रशासन ने आश्वासन दिया कि सैनिकों की गरिमा और सम्मान हर हाल में बरकरार रखा जाएगा और दोषी पुलिसकर्मियों पर उचित कार्रवाई होगी।

क्या कहता है इतिहास?

भारतीय सेना का इतिहास बलिदान और सम्मान से भरा हुआ है। 1947 के विभाजन के समय से लेकर 2023 तक, भारतीय सेना ने कई युद्ध लड़े और देश को सुरक्षित रखा। लेकिन यह पहली बार नहीं है जब सैनिकों के साथ पुलिस या प्रशासन द्वारा ऐसा व्यवहार किया गया हो। 2017 में भी हरियाणा में एक पूर्व सैनिक के साथ पुलिस द्वारा दुर्व्यवहार की घटना सामने आई थी, जिसके बाद भारी विरोध प्रदर्शन हुआ था।

क्या सेना और पुलिस के बीच टकराव नया है?

ऐसे कई मामले देखने को मिले हैं जहां सेना और पुलिस के बीच टकराव की स्थिति बनी है। हालांकि, सेना का काम बाहरी खतरों से निपटना होता है और पुलिस आंतरिक कानून व्यवस्था संभालती है, लेकिन जब सेना के जवानों के साथ पुलिस दुर्व्यवहार करती है, तो यह मुद्दा देशभर में गहरी चिंता का विषय बन जाता है।

पूर्व सैनिकों की मांग और सरकार की जिम्मेदारी

पूर्व सैनिकों की मुख्य मांगें इस प्रकार हैं:

  1. हवलदार सूरज राय की तत्काल रिहाई।
  2. दोषी पुलिसकर्मियों पर कड़ी कानूनी कार्रवाई।
  3. भविष्य में ऐसी घटनाएं न हो, इसके लिए सुरक्षा की गारंटी।
  4. सेना के सम्मान को ठेस पहुंचाने वालों के खिलाफ सख्त सजा।

क्या होगा आगे?

अब यह देखना दिलचस्प होगा कि प्रशासन इस मामले को कितनी गंभीरता से लेता है। क्या दोषी पुलिसकर्मियों पर कार्रवाई होगी? क्या भविष्य में ऐसे मामलों को रोकने के लिए कोई सख्त नियम बनाया जाएगा? यह सब आने वाले दिनों में साफ हो जाएगा।

लेकिन एक बात तो तय है – पूर्व सैनिकों और जवानों के सम्मान की लड़ाई अब सिर्फ एक शहर तक सीमित नहीं रहेगी।

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Nihal Ravidas निहाल रविदास, जिन्होंने बी.कॉम की पढ़ाई की है, तकनीकी विशेषज्ञता, समसामयिक मुद्दों और रचनात्मक लेखन में माहिर हैं।