Chaitra Navratri 2025: चैत्र नवरात्रि 2025 कब है? जानें घटस्थापना का शुभ मुहूर्त, देवी पूजन की तिथियां !!

चैत्र नवरात्रि 2025 कब है? जानें घटस्थापना का शुभ मुहूर्त, देवी पूजन की तिथियां और पूजा के महत्वपूर्ण नियम। नवरात्रि से जुड़ी हर जानकारी यहाँ पढ़ें।

Mar 19, 2025 - 14:08
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Chaitra Navratri 2025: चैत्र नवरात्रि 2025 कब है? जानें घटस्थापना का शुभ मुहूर्त, देवी पूजन की तिथियां !!
Chaitra Navratri 2025: चैत्र नवरात्रि 2025 कब है? जानें घटस्थापना का शुभ मुहूर्त, देवी पूजन की तिथियां !!

चैत्र नवरात्रि हिंदू धर्म का एक प्रमुख पर्व है, जिसे मां दुर्गा की आराधना के लिए विशेष माना जाता है। यह पर्व चैत्र मास के शुक्ल पक्ष की प्रतिपदा से नवमी तक मनाया जाता है। 2025 में यह शुभ अवसर 30 मार्च से शुरू होगा। आइए जानते हैं चैत्र नवरात्रि के पूजा विधि, कलश स्थापना मुहूर्त और इसके धार्मिक महत्व के बारे में।

 चैत्र नवरात्रि 2025 शुभ मुहूर्त और तिथियां

 घटस्थापना (कलश स्थापना) मुहूर्त
तारीख – 30 मार्च 2025, रविवार
समय – सुबह 5:52 AM से 9:59 AM
अभिजित मुहूर्त – 11:38 AM से 12:27 PM

प्रतिपदा तिथि
 प्रारंभ – 29 मार्च 2025, शाम 4:27 PM
 समापन – 30 मार्च 2025, दोपहर 12:49 PM

 चैत्र नवरात्रि के विशेष योग और नक्षत्र

इस बार नवरात्रि में कई शुभ संयोग बन रहे हैं, जो इसे और भी फलदायी बना रहे हैं।

सर्वार्थ सिद्धि योग – 30 मार्च शाम 4:35 PM से 31 मार्च सुबह 5:50 AM
रेवती नक्षत्र – 29 मार्च शाम 7:26 PM से 30 मार्च शाम 4:35 PM
वैधृति योग – 30 मार्च शाम 5:54 PM से 31 मार्च दोपहर 1:46 PM

ग्रह नक्षत्रों की विशेष स्थिति – यह समय साधना, पूजा-पाठ और नए कार्यों की शुरुआत के लिए अत्यंत शुभ माना जाता है।

 चैत्र नवरात्रि 2025 का दिनवार कैलेंडर

30 मार्च (रविवार) – मां शैलपुत्री पूजा (प्रतिपदा)
31 मार्च (सोमवार) – मां ब्रह्मचारिणी पूजा (द्वितीया)
01 अप्रैल (मंगलवार) – मां चंद्रघंटा पूजा (तृतीया)
02 अप्रैल (बुधवार) – मां कूष्मांडा पूजा (चतुर्थी)
03 अप्रैल (गुरुवार) – मां स्कंदमाता पूजा (पंचमी)
04 अप्रैल (शुक्रवार) – मां कात्यायनी पूजा (षष्ठी)
05 अप्रैल (शनिवार) – मां कालरात्रि पूजा (सप्तमी)
06 अप्रैल (रविवार) – मां महागौरी पूजा (अष्टमी)
07 अप्रैल (सोमवार) – मां सिद्धिदात्री पूजा (नवमी)
08 अप्रैल (मंगलवार) – दुर्गा विसर्जन (दशमी)

 नवरात्रि पूजा सामग्री लिस्ट

 कलश स्थापना के लिए – मिट्टी का कलश, आम के पत्ते, नारियल, लाल कपड़ा
 देवी पूजा के लिए – अक्षत, पुष्प, चंदन, धूप, दीपक, कपूर, सिंदूर
 हवन सामग्री – आम की लकड़ी, घी, गुग्गल, जौ, काले तिल
 कन्या पूजन के लिए – हलवा, पूड़ी, चने, लाल चुन्नी, बिंदी, चूड़ियां

 क्यों करें चैत्र नवरात्रि में मां दुर्गा की पूजा?

सभी दोषों का नाश – नवरात्रि में मां दुर्गा की आराधना करने से जीवन में आने वाली नकारात्मक ऊर्जा समाप्त होती है।
सुख-समृद्धि – घर में शांति, समृद्धि और सुख-शांति बनी रहती है।
नया कार्य प्रारंभ – इस दौरान किए गए कार्य सफल होते हैं और जीवन में शुभता आती है।

अगर कोई भक्त व्रत नहीं कर सकता, तो वह नियमित पूजा, पाठ, आरती और कन्या पूजन करके भी माता रानी की कृपा प्राप्त कर सकता है।

गुप्त नवरात्रि और इसका महत्व

क्या आप जानते हैं कि वर्ष में चार नवरात्रि मनाई जाती हैं?
 चैत्र नवरात्रि और शारदीय नवरात्रि सामान्य जनों के लिए होती हैं, जबकि आषाढ़ और माघ मास की नवरात्रि को गुप्त नवरात्रि कहा जाता है, जिसमें साधक विशेष तांत्रिक साधनाएं करते हैं।

पौराणिक कथा के अनुसार, मां दुर्गा ने इन्हीं नौ दिनों में महिषासुर का वध कर देवताओं को उसके अत्याचार से मुक्त किया था। इसलिए नवरात्रि का पर्व अधर्म पर धर्म की विजय का प्रतीक है।

2025 की चैत्र नवरात्रि का शुभारंभ 30 मार्च को होगा, और यह नौ दिनों तक चलेगा। यह एक बेहद शुभ समय है, जिसमें देवी दुर्गा की पूजा, व्रत और अनुष्ठान करने से विशेष फल की प्राप्ति होती है। भक्त इस दौरान व्रत रखकर, हवन, कन्या पूजन और हवन कर मां दुर्गा की कृपा प्राप्त कर सकते हैं।

इस बार की नवरात्रि आपके जीवन में नई ऊर्जा, समृद्धि और सकारात्मकता लेकर आए – जय माता दी!

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Nihal Ravidas निहाल रविदास, जिन्होंने बी.कॉम की पढ़ाई की है, तकनीकी विशेषज्ञता, समसामयिक मुद्दों और रचनात्मक लेखन में माहिर हैं।